जयपुर. राजस्थान सियासी ड्रामा के दौरान बहुजन समाज पार्टी विधायकों के कांग्रेस में विलय का मामला अब एक बार फिर सुर्खियों में है. बसपा प्रदेश अध्यक्ष भगवान सिंह बाबा ने राजस्थान विधानसभा अध्यक्ष के समक्ष इस संबंध में फिर से याचिका लगाई है. ईटीवी भारत से खास बातचीत में बसपा प्रदेश अध्यक्ष ने उम्मीद जताई है कि इस बार स्पीकर न्याय करेंगे. यदि ऐसा हुआ तो बसपा से कांग्रेस में गए सभी 6 विधायकों की सदस्यता भी समाप्त होगी और प्रदेश की गहलोत सरकार भी गिर जाएगी.
बसपा प्रदेश अध्यक्ष भगवान सिंह बाबा के नेतृत्व में 6 सदस्य बसपा नेताओं का एक प्रतिनिधिमंडल राजस्थान विधानसभा पहुंचा. जहां विधानसभा अध्यक्ष डॉ. सीपी जोशी से उनकी मुलाकात नहीं हुई लेकिन प्रतिनिधि मंडल में शामिल वकीलों ने याचिका लगाने से जुड़ी प्रक्रिया शुरू करते हुए तमाम दस्तावेज विधानसभा कार्यालय में दाखिल कर दी है.
इसी दौरान बसपा प्रदेश अध्यक्ष भगवान सिंह बाबा ईटीवी भारत से खास बातचीत की. जिसमें उन्होंने कहा कि यह मामला पहले भी राजस्थान हाई कोर्ट में भी लगाया गया था. जिसमें सिंगल बेंच और फिर डबल बेंच में भी इस पर सुनवाई हुई. तब राजस्थान हाई कोर्ट ने इस मामले में राजस्थान विधानसभा अध्यक्ष के समक्ष याचिका लगाने के निर्देश दिए थे. हालांकि, उस दौरान बसपा ने इसी मामले में सुप्रीम कोर्ट में भी याचिका लगा दी, जिस पर सुनवाई जारी है.
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भगवान सिंह बाबा के अनुसार साल 2018 में बसपा के विधायकों को और पद का लालच देकर कांग्रेस में मिला लिया गया लेकिन बहुजन समाज पार्टी एक राष्ट्रीय राजनीतिक दल है और बिना राष्ट्रीय अध्यक्ष मायावती की स्वीकृति के बिना विलय नहीं हो सकता. बाबा ने कहा कि प्रदेश सरकार की ओर से लालच में कराए गए विधायकों के विलय को कोर्ट में भी चुनौती दी गई है. अब राजस्थान विधानसभा स्पीकर के समक्ष भी इसे चुनौती दी जा रही है.
सीपी जोशी से न्याय का विश्वास
भगवान सिंह बाबा ने विश्वास जताया कि राजस्थान विधानसभा स्पीकर सीपी जोशी इस मामले में न्याय करेंगे. यदि न्याय हुआ तो बसपा से कांग्रेस में विलय हुए सभी 6 विधायकों की सदस्यता समाप्त होगी और प्रदेश सरकार स्वत: ही गिर जाएगी.