जयपुर. नई दिल्ली स्थित गांधी शांति प्रतिष्ठा के अध्यक्ष कुमार प्रशांत, महात्मा गांधी दर्शन संग्रहालय एडवाईजरी कमेटी के सदस्य और जेडीसी रवि जैन ने मंगलवार को संग्रहालय के निर्माणाधीन स्ट्रक्चर की साइट पर विजिट किया. कमेटी ने जेडीए की ओर से त्वरित गति से करवाए जा रहे निर्माण कार्य की प्रशंसा की. साथ ही संग्रहालय के निर्माण से संबंधित विभिन्न विषयों पर विचार-विमर्श कर सुझाव भी दिए हैं.
महात्मा गांधी दर्शन संग्रहालय (Mahatma Gandhi Darshan Museum) प्रोजेक्ट में मुख्य रूप से महात्मा गांधी की विरासत और स्वतंत्रता संग्राम के मुख्य आंदोलनों को इस म्यूजियम में आभासी तौर पर पुनर्जीवित किया जाएगा. जिससे की दर्शक विशेषकर देश की युवा पीढ़ी स्वतंत्रता संग्राम की मुख्य घटनाओं, गांधी के जीवन, दर्शन और मूल्यों का अनुभव कर सके. उन्हें आत्मसात कर सकें. विरासत वाले भाग को भूतल के ऊपर प्रस्तावित किया गया है और अतीत के आंदोलन, घटना आदि को भूमिगत तल पर रखा गया है.
पढ़ें:Vacant Posts in Schools: महात्मा गांधी इंग्लिश मीडियम स्कूल में खाली पदों को भरना बड़ी चुनौती, 208 से 1182 पहुंची स्कूलों की संख्या
महात्मा गांधी से संबंधित वस्तुओं का प्रत्यक्ष प्रदर्शन किया जाएगा: प्रोजेक्ट में गांधी दर्शन म्यूजियम में महात्मा गांधी की विरासत से संबंधित वस्तुओं का प्रत्यक्ष प्रदर्शन किया जाएगा. राष्ट्रपिता के जीवन से जुड़े मुख्य आंदोलनों (दक्षिणी अफ्रीका में सत्याग्रह प्रयोग, चपांरन आंदोलन, खिलाफत आंदोलन, सविनय अवज्ञा आंदोलन और भारत छोड़ो आंदोलन) को नई तकनीक के जरिए दर्शाया जाएगा. ताकि दर्शक विशेष तौर पर युवा इन आंदोलनों और घटनाओं को अनुभव कर सके. साथ ही म्यूजियम से जुड़ाव महसूस कर सकें.
एडवाइजरी कमेटी में कुमार प्रशांत के अलावा डीआर मेहता, जीएस बाफना, बीएम शर्मा, गोपाल बाहेती, मनीष शर्मा, सवाई सिंह, रमेश बोराणा, महेन्द्र खडगावत, उच्च शिक्षा शासन सचिव और जेडीए आयुक्त शामिल हैं. बता दें कि मुख्यमंत्री अशोक गहलोत की ओर 2 अक्टूबर 2021 को महात्मा गांधी दर्शन संग्रहालय का शिलान्यास किया गया. म्यूजियम का कार्य पूर्ण होने पर न सिर्फ परियोजना साइट की बल्कि सम्पूर्ण नजदीकी क्षेत्र की ईको वेल्यू यानि पर्यावरण मूल्य में अभिवृद्धि होगी.