बीकानेर. सीकर स्वामी सुमेधानंद कहा कि किसान कानून को लेकर किसानों के साथ केंद्र सरकार लगातार वार्ता कर रही है. किसानों के साथ 10 दौर तक वार्ता हो चुकी है और किसानों की बातों को महत्व दिया जा रहा है. किसानों के सुधार संशोधन को भी सरकार मानने को तैयार है. बीकानेर के दौरे पर आए स्वामी सुमेधानंद ईटीवी भारत से खास बातचीत में कहा कि अब किसान आंदोलन का नेतृत्व दूसरे लोग कर रहे हैं और लेफ्ट और कांग्रेस के कुछ लोग इस आंदोलन को गलत दिशा में ले कर जा रहे हैं.
प्रदेश भाजपा अध्यक्ष सतीश पूनिया के साथ ही बुधवार को बीकानेर के खाजूवाला में केंद्रीय मंत्री के पुत्र को भी किसानों की ओर से दिखाए गए काले झंडे के सवाल पर उन्होंने कहा कि लोकतंत्र में विरोध करने का अधिकार सबको है, लेकिन अब सारा विरोध पर प्रायोजित हो रहा है. उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी खुद किसानों की पीड़ा को समझते हैं और इसीलिए किसानों के किसी भी सुझाव को मानने से केंद्र सरकार मना नहीं कर रही है, लेकिन गलत नेतृत्व के चलते अब इस कानून को वापस लिए जाने की मांग की जा रही है.
इस दौरान प्रदेश सरकार के 2 साल के कामकाज को लेकर कटाक्ष करते हुए स्वामी सुमेधानंद ने कहा कि प्रदेश में कानून व्यवस्था पूरी तरह से चौपट हो चुकी है और अपराधिक घटनाओं का ग्राफ लगातार बढ़ रहा है. वहीं ऊर्जा के क्षेत्र में काम पर टिप्पणी करते हुए उन्होंने कहा कि जिस तरह से आपातकाल के समय अधिकारियों को नसबंदी का टारगेट दिया गया था. उसी तरह अब प्रदेश में अधिकारियों को वीसीआर भरने का टारगेट दिया जा रहा है. देर रात और तड़के भी बिजली अधिकारी लोगों के घरों पर छापेमारी की तरह पहुंच रहे हैं और जुर्माना वसूल कर रहे हैं, जिससे लोगों के मन में भी खासा आक्रोश है.