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Bhilwara: हिंदुस्तान जिंक लिमिटेड के खिलाफ लामबंद हुए किसान, राष्ट्रपति, प्रधानमंत्री के नाम सौंपा ज्ञापन दिया

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Published : Jun 2, 2022, 4:27 PM IST

भीलवाड़ा जिले में स्थित हिंदुस्तान जिंक लिमिटेड की ओर से खनन के दौरान प्रभावित किसान (Hindustan Zinc Limited in Bhilwara) और मजदूरों ने समस्या के निराकरण की मांग को लेकर गुरुवार को तहसीलदार को राष्ट्रपति, प्रधानमंत्री और मुख्यमंत्री के नाम ज्ञापन सौंपा. साथ ही किसानों ने प्रधानमंत्री और सुप्रीम कोर्ट के न्यायधीश को पोस्ट कार्ड लिखकर भेजे हैं. मांगे पूरी नहीं होने की स्थिति में जंतर मंतर पर धरने की चेतावनी भी दी है.

Hindustan Zinc Limited in Bhilwara
हिंदुस्तान जिंक लिमिटेड के खिलाफ लामबंद हुए क्षेत्र के किसान

भीलवाड़ा.जिले की हुरडा पंचायत समिति क्षेत्र में स्थित हिंदुस्तान जिंक लिमिटेड की ओर से किसानों की बकाया (Hindustan Zinc Limited in Bhilwara) अवार्ड राशि लौटाने की मांग को लेकर किसानों ने तहसीलदार को राष्ट्रपति के नाम ज्ञापन सौंपा. किसानों की मांग है कि साल 2016 से हिंदुस्तान जिंक लिमिटेड रामपुरा आगुचा खान के पेराफेरी क्षेत्र के कई किसानों के लंबित मामले न्यायालय और प्रशासनिक स्तर पर विचाराधीन हैं. ऐसे में इन मामलों का निस्तारण नहीं होता है तब तक केंद्र सरकार वेदांता कंपनी के शेयर न बेचे.

हिंदुस्तान जिंक लिमिटेड के खिलाफ पूर्व में एनजीटी में याचिका दायर करने वाले समाजसेवी शोभाग माली ने हिन्दुस्तान जिंक पर आरोप लगाते हुए कहा कि हिंदुस्तान जिंक लिमिटेड के चलते क्षेत्र में प्रदूषण, अवार्ड राशि के साथ-साथ किसानों की जमीन खराब होने सहित कई मामले न्यायालय में प्रशासनिक स्तर पर लंबित चल रहे हैं. इन मामलों से खफा होकर गुरुवार को क्षेत्र के किसान फुलियाकला उपखंड मुख्यालय पहुंचे और तहसीलदार को राष्ट्रपति, प्रधानमंत्री और मुख्यमंत्री के नाम ज्ञापन सौंपा.

राष्ट्रपति, प्रधानमंत्री और मुख्यमंत्री के नाम सौंपा ज्ञापन

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पोस्टकार्ड की शुरुआत: शोभाग माली ने कहा कि आज से हमने पोस्टकार्ड लिखने की भी शुरुआत की है. हिंदुस्तान जिंक लिमिटेड के फेरा-फेरी क्षेत्र में स्थित पीड़ित किसान लगभग 5 हजार पोस्टकार्ड सरकार और सप्रीम कोर्ट के मुख्य न्यायाधीश को लिखकर भी न्याय की मांग की शुरुआत की है.

मुख्य मांगें-:

  • जिंक की ओर से खनन के दौरान हो रहे प्रदुषण को रोका जाए.
  • किसानों की बकाया अवार्ड राशि लौटाई जाए.
  • प्रदूषित पानी बाहर छोड़ने पर रोक लगे.
  • जिन किसानों की जमीन अधिग्रहण की गई, उनके परिजन को रोजगार मिले.
  • लेबर कोर्ट में चल रहे मामले का तुरन्त हो निस्तारण.
  • जब तक मांगे नहीं मानी जाती, तब तक केन्द्र सरकार शेयर नहीं बेचे.

किसानों ने चेतावनी दी कि अगर सरकार हमारी ये मांगे नहीं मानती है तो आगामी दिनों में जंतर मंतर पर धरना दिया जाएगा. ज्ञापन सौंपने के दौरान नरेश कुमार शर्मा, जगदीश जाट, ओमपुरी, बालूराम माली, रामप्रसाद जाट, मांगीलाल माली, भवानी सिंह चौहान, राजकिशोर जायसवाल, कैलाश दरोगा सहित सैकड़ों किसान और मजदूर मौजूद रहे.

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