भीलवाड़ा. हिंदुस्तान जिंक लिमिटेड आगूचा स्थित प्लांट में कार्यरत एक कर्मचारी की अचानक तबीयत बिगड़ने के बाद मौत हो गई. कर्मचारी के शव को महात्मा गांधी चिकित्सालय स्थित मोर्चरी लाया गया है, जहां मृतक पक्ष के लोग मुआवजे की मांग कर रहे हैं. जिसको लेकर मोर्चरी के बाहर धरने पर बैठ गए.
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जानकारी के अनुसार हिंदुस्तान जिंक लिमिटेड की आगूचा प्लांट में भूमिगत खदान में सोनू कुमार तेली रविवार रात नाइट शिफ्ट में कार्यरत था. जहां उसकी अचानक तबीयत बिगड़ने के बाद मौत हो गई. उधर मृतक पक्ष के लोग मोर्चरी पहुंचे हैं. जो मृतक आश्रितों को मुआवजा दिलाने की मांग कर रहे हैं. इन लोगों का कहना है कि जब तक उनकी मांग नहीं मानी जाती तब तक वे न तो शव का पोस्टमार्टम करवाएंगे और न ही शव लेंगे. प्रथम दृष्टया यह लोग सोनू की मौत भूमिगत खदान में दम घुटने से होना बता रहे हैं.
मोर्चरी के बाहर धरना देते मृतक के परिजन माइंस प्रबन्धकों और परिजनों के बीच चर्चा चल रही है. मगर दोपहर तक भी कोई समझौता नहीं हो पाया है. गुलाबपुरा थाना पुलिस भी दोनों पक्षों से समझाइश का प्रयास कर रही है.
मृतक के भाई राजू साहू ने कहा कि मेरा भाई सोनू साहू रात को आगूंचा माईंस में काम करने गया था. अलसुबह मेरी भाभी के पास फोन आया कि सोनू की तबियत खराब हो गई है और उसे भीलवाड़ा अस्पताल में भर्ती करवाया गया है. हम जब यहां पहुंचे तब तक उसकी मौत हो चुकी थीय. सोनू के शरीर पर काफी चोटों के भी निशान है. हमारी मांग है कि हमे 1 करोड़ रूपए मुआवजा और 1 परिजन को नौकरी प्रदान की जाए.
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सोनू को माईंस में काफी अन्दर लगाया गया था. जहां पर ऑक्सीजन की कमी होने के कारण उसके साथ यह हादसा हुआ है. इसके साथ ही उसके हाथ पर करन्ट लगने जैसा निशान भी बना हुआ है. यही नहीं हिंदुस्तान जिंक में सुरक्षा और चिकित्सीय सुविधा भी श्रमिकों को नहीं मिलती है. जिससे समय रहते उनको इलाज नहीं मिल पाता. गुलाबपुरा थाने के एएसआई मदन लाल ने कहा कि प्रथमदृष्टया मामला दुर्घटना का लग रहा है मगर पोस्मार्टम रिपोर्ट आने के बाद ही मौत के कारणों का खुलासा हो पायेगा.