भरतपुर. प्रदेश भर में इस बार मानसून मेहरबान नजर (Monsoon in Rajasthan) आ रहा है. शुरुआत में ही मानसून ने प्रदेश के अधिकतर जिलों में अच्छी दस्तक दी है. यही वजह है कि इस बार जुलाई के पहले सप्ताह तक ही प्रदेश भर में औसत से 17 फीसदी अधिक बारिश (Monsoon Rain in Rajasthan) दर्ज की गई है. जबकि भरतपुर जिले में औसत से 31.5 फीसदी अधिक मेघ बरसे हैं. ऐसे में संभावना जताई जा रही है कि इस वर्ष मानसून पिछले वर्ष की तुलना में अधिक मेहरबान रहेगा.
33 में से 21 जिलों में जमकर बरस रहे मेघ- इस वर्ष 1 जून से 3 जुलाई तक की बरसात के आंकड़ों पर नजर डालें तो प्रदेश के 33 में से 21 जिलों में औसत से अधिक बरसात दर्ज की गई है. इनमें बीकानेर संभाग में 105.64 एमएम (104.4% अधिक), अजमेर में 112.57 एमएम (53.8%), भरतपुर संभाग में 95.06 एमएम (19.3%), जयपुर संभाग में 129.47 एमएम (66.5%) और कोटा में 162.83 एमएम (37.7%)बरसात हुई है। हालांकि भरतपुर जिले में इस बार औसत बरसात से 31.5 प्रतिशत अधिक बरसात हुई है.
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कई जिलों को अच्छी बरसात का इंतजार- एक तरफ जहां राजस्थान के 21 जिलों में औसत से अधिक वर्षा दर्ज की गई है तो वहीं 12 जिले अभी भी ऐसे हैं जहां पर मानसून की मेहरबानी का इंतजार है. इनमें उदयपुर संभाग के सभी 6 जिलों (उदयपुर, राजसमंद, चित्तौड़गढ़, डूंगरपुर, बांसवाड़ा, प्रतापगढ़) में औसत से 40.7 फीसदी कम बरसात हुई है. जबकि जोधपुर संभाग की बात करें तो बाड़मेर और जैसलमेर जिले को छोड़कर पूरे संभाग में औसत से 20.8 प्रतिशत कम बरसात हुई है.
गौरतलब है कि इस बार राजस्थान में मानसून समय से पहले पहुंच चुका है, जिसके चलते पूरे राजस्थान में उक्त अवधि की औसत बरसात 79.60 एमएम की तुलना में 93.19 एमएम बरसात हुई है, जो कि 17.1% अधिक है. हालांकि उक्त अवधि में पिछले वर्ष राजस्थान में 58.20 एमएम बरसात हुई थी जो कि सामान्य से काफी कम थी. ऐसे में अनुमान है कि इस बार पूरे मानसून में प्रदेश में अच्छी बरसात रहेगी.