भरतपुर.एक कहावत हमारे देश में काफी प्रचलित है 'खुदी को कर बुलंद इतना कि हर तकदीर से पहले खुदा बंदे से खुद पूछे, बता तेरी रजा क्या है.' भरतपुर के चंद्रपाल पर यह कहावत बिल्कुल सटीक बैठती है.इस 12 साल के बच्चे का हुनर देखकर आप भी दंग रह जाएंगे. चंद्रपाल ऐसे सुंदर तस्वीरें पन्नों पर उतारता है, जो बड़े-बड़े चित्रकारों को भी आश्चर्य में डाल दे.
दरअसल, चंद्रपाल भरतपुर केबहज गांव के राजकीय उच्च माध्यमिक विद्यालय में पढ़ता है. जो भी इस बच्चे की प्रतिभा को देखता है, वह उसकी तारीफ किए बिना रह नहीं पाता. चंद्रपाल पढ़ाई में तो अव्वल है ही, इसके अलावा चंद्रपाल जो चित्रकारी करता है, उसकी बारीकियों को देख हर कोई दंग रह जाता है.
यह भी पढे़ं- 808वां अजमेर उर्स: दो साल से नहीं आ रहे पाकिस्तानी जायरीनों का इस बार भी आने की उम्मीद कम
न महंगे साधन, न रंग, पर चित्रकारी कर देगी आपको दंग...
अक्सर ऐसी चित्रकारी के लिए मंहगे साधनों और अच्छे रंगों की आवश्यकता होती है, लेकिन चंद्रपाल के पास चित्रकला का कोई साधन नहीं है. इसके अलावा चंद्रपाल के माता-पिता भी इतने सक्षम नहीं है कि वे उसकी प्रतिभा को देखते हुए उसे आगे बढ़ा सकें, लेकिन जो साधन चंद्रपाल के पास है, उन्हीं साधनों से वह जिस व्यक्ति का चित्र बनाता है, उसकी शक्ल हूबहू कागज पर उतार देता है.
चंद्रपाल कक्षा 5वीं का छात्र है. उसकी उम्र महज 12 साल है. वह बहुत गरीब परिवार से ताल्लुख रखता है. चंद्रपाल के पिता राकेश मजदूरी का काम करते है और उसकी मां एक घरेलू महिला हैं. चंद्रपाल के 2 और भी भाई है. जिसमें चंद्रपाल दूसरे नंबर पर है. चंद्रपाल के पिता बड़ी मुश्किल से तीनों भाइयों की पढ़ाई-लिखाई का खर्चा उठा पाते हैं. चंद्रपाल के पास न तो पहनने के लिए अच्छे कपड़े है और न ही खाने के लिए अच्छा खाना. बिना किसी अच्छे साधनों के चंद्रपाल ऐसी कला का धनी है. जिसे देखने आसपास के इलाकों के लोग आते है और उसकी बिना तारीफ किए रह नहीं पाते. चंद्रपाल किसी भी व्यक्ति की तस्वीर को हूबहू पेज पर उतार देता है. चंद्रपाल ने कई बड़ी बड़ी हस्तियों की तस्वीरें बनाई है.
पेंसिल और रबर को बनाया हमसफर...