भरतपुर.कोरोना संक्रमण का दुष्प्रभाव (Side Effects) हर क्षेत्र (Area) और हर व्यवसाय (Business) पर पड़ा है. यही वजह है कि शहद उत्पादक (Manufacturer) भी इससे अछूते नहीं रहे हैं. Lockdown के दौरान मजदूर (Labour) उपलब्ध नहीं होने के चलते भरतपुर (Bharatpur) जिले के शहद उत्पादन में करीब 60 फीसदी की गिरावट आई है.
शहद उत्पादक फर्मों को ना तो लॉकडाउन के दौरान काम करने वाले पर्याप्त मजदूर मिल पाए और ना ही विदेशों से शहद के आर्डर मिले. शहद का सबसे बड़ा उपभोक्ता देश अमेरिका ने तो इस दौरान करीब 600 मीट्रिक टन शहद के आर्डर भी कैंसिल कर दिए. लेकिन इस संक्रमण के पूरे दौर में शहद उत्पादकों के लिए अच्छी खबर यह रही कि देश में शहद की मांग काफी बढ़ गई है.
60 फीसदी उत्पादन घटा
भरतपुर शहर के आगरा हाईवे पर स्थित बृज हनी फर्म निदेशक विनीत सिंह ने बताया कि लॉकडाउन के दौरान करीब 20 दिन तक शहद का उत्पादन पूरी तरह से बंद रहा. लेकिन उसके बाद भी पर्याप्त मजदूर उपलब्ध नहीं होने की वजह से बहुत ही कम उत्पादन हो सका. अगर बीते 3 महीने की बात करें तो फर्म में शहद उत्पादन में करीब 60 फीसदी की गिरावट आई है.
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अमेरिका के सभी ऑर्डर कैंसिल
बृज हनी फर्म देश की शीर्ष 5 फर्मों में से एक है. फर्म के निदेशक विनीत सिंह ने बताया कि साल भर में फर्म में करीब 9 हजार मीट्रिक टन शहद उत्पादन होता है. यह शहद देश की कई नामी संस्थाओं को सप्लाई करने के साथ ही देश के बाहर अमेरिका, सऊदी अरब, कुवैत, कनाडा और दुबई समेत कई देशों में भी सप्लाई किया जाता है. इसमें से करीब 6 हजार 750 मीट्रिक टन (75 फीसदी) शहद अकेले अमेरिका में निर्यात होता है.
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