अलवर.रामगढ़ प्रशासन जाने-अनजाने में कोरोना को आमंत्रित करने का काम कर रहा हैं. बीते 3 दिनों से मुख्य बाजार के व्यापारी सहित लगभग हर व्यक्ति कोरोना के खतरे से सहमा हुआ है.
दरअसल, जिले में लंबे समय से हरियाणा से आए सब्जी बेच रहे हैं. वहीं पुलिस के डंडे के बाद व्यापार करने की इच्छा रखने वाले दुकानदार अब स्वयं ही अपने प्रतिष्ठानों को खोलने से कतरा रहे हैं.
रियाणा के संवेदनशील क्षेत्रों से सब्जी बेचने आ रहे विक्रेता रामगढ़ कस्बे की थोक सब्जी मंडी में हरियाणा से भारी संख्या में सब्जी किसानों की आवाजाही है. बीते 1 सप्ताह से फिरोजपुर, बडकली, तिजारा झिरका आदि क्षेत्रों से मंडी में बिक्री के लिए सब्जी लेकर आ रहे किसान कस्बे में 3 दिन से चर्चा का विषय बने हुए हैं.
जिन क्षेत्रों में कोरोना से संक्रमित लोगों की संख्या बढ़ने के कारण पूरी तरह बंद की स्थिति है ऐसे क्षेत्रों से लोगों का रामगढ़ की सब्जी मंडी में आना कस्बे के लोगों को दिनोंदिन भय की स्थिति बना रहा है.
थोक सब्जी मंडी में काम करने वाले छोटे दुकानदार और स्थानीय सब्जी विक्रेताओं का कहना है कि इस मंडी में कभी भी बाहरी सब्जी आढ़त पर नहीं आई थी. स्थानीय किसान की सब्जी से पूर्ति हो जाती है. लेकिन पिछले कई दिनों से हरियाणा के कई गांव से सब्जी बिकने आ रहे हैं. जो बड़े खतरे को बुलावा दे रही हैं.
भारी संख्या में आ रहे बाहरी लोगों के खतरे को देखते हुए कुछ कस्बे वासियों ने विरोध भी किया. सब्जी मंडी के आसपास के लोगों ने बताया कि पुलिस 6 बजे पहुंचती है जिसके चलते आढ़तिए अल सुबह 3 बजे ही आढ़त का काम शुरू कर देते हैं.
पुलिस के आने से पहले ही बाहर से आने वाले लोगों की भीड़ फ्री कर दिया जाता है. वहीं पिछले 3 दिन से पुलिस ने भी आना बंद कर दिया है . इस दौरान लोग ना मास्क लगा रहे हैं ना ही सोशल डिस्टेंसिंग की पालना हो रही हैं.