अलवर. प्रताप पलटन क्षेत्र में 100 साल पुराना मंदिर है. इसमें शिव दरबार, हनुमान जी सहित अन्य भगवान विराजमान हैं. आसपास क्षेत्र के लोग मंदिर में पूजा-अर्चना करते हैं और लोगों की खासी आस्था है. 2 साल पहले सेना के अधिकारियों ने मंदिर के चारों तरफ तारबंदी करके उसका रास्ता बंद कर दिया. उसके बाद से लोग मंदिर का रास्ता (Alwar Demonstration for Opening Temple) खुलवाने की मांग कर रहे हैं.
रास्ता खुलवाने को लेकर कई बार लोग प्रदर्शन कर चुके हैं, लेकिन उसके बाद भी सेना के अधिकारियों ने मंदिर का रास्ता नहीं खोला. बीते दिनों कई बार हंगामे हुए लोगों ने धरने दिए. हालात खराब होते देख प्रशासन में 10 दिनों में मंदिर का रास्ता खुलवाने का आश्वासन दिया था. उसके बाद से लगातार स्थानीय लोग मंदिर के पास धरना दे रहे हैं. करीब 33 दिनों से लोगों का धरना जारी है, लेकिन अभी तक मंदिर का रास्ता नहीं खुला है.
मंदिर खुलवाने के लिए सैकड़ों लोगों ने किया चक्का जाम... धोबी गट्टा क्षेत्र के सैकड़ों लोगों ने प्राचीन हनुमान मंदिर का रास्ता खुलवाने के लिए जेल के चौराहे पर चक्का जाम किया व विरोध-प्रदर्शन किया. लोगों ने सरकार व प्रशासन के खिलाफ जमकर नारेबाजी की. स्थानीय लोगों ने कहा कि वो 33 दिन से धरना दे रहे हैं. प्रशासन ने 10 दिनों में मंदिर का रास्ता खुलवाने के आश्वासन दिए थे, लेकिन अभी तक मंदिर का रास्ता नहीं खुला है. हजारों लोगों की आस्था से खिलवाड़ हो रहा है.
सेना ने सालों पुराने मंदिर के चारों तरफ तारबंदी करते हुए आम लोगों का रास्ता बंद कर दिया है. मंदिर में पूजा-पाठ नहीं हो पा रहे हैं. इसके अलावा लोग खासे परेशान हैं. मंदिर खुलवाने के लिए पहले भी कई बार लोग कलेक्ट्रेट में विरोध-प्रदर्शन कर चुके हैं व धरना दे चुके हैं. मंदिर के पास क्षेत्र में हंगामा भी कर चुके हैं, लेकिन उसके बाद भी कोई समाधान अभी तक नहीं निकला. ऐसे में परेशान लोगों ने (People Blocked the Road in Alwar) शुक्रवार को चक्का जाम किया.
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लोगों ने कहा कि प्रशासन केवल झूठे आश्वासन दे रहा है. मंदिर का रास्ता खुलवाने के लिए वह लोग कई बार कलेक्ट्रेट में विरोध-प्रदर्शन कर चुके हैं. सेना के अधिकारियों के सामने भी अपनी समस्या रखी पर है. मंदिर के पास 33 दिनों से लोगों का धरना जारी है, लेकिन उसके बाद भी सेना के अधिकारियों ने मंदिर को नहीं खोला. उन्होंने कहा कि जब तक मंदिर आम लोगों के लिए नहीं खोला जाएगा. उनका विरोध-प्रदर्शन जारी रहेगा. स्थानीय लोग अपना कामकाज छोड़कर विरोध-प्रदर्शन कर रहे हैं. मामले की जानकारी मिलते ही मौके पर पहुंचे प्रशासनिक अधिकारियों ने कहा कि इस संबंध में सेना के अधिकारियों से बातचीत चल रही है, लेकिन अभी तक मंदिर खोलने के आदेश नहीं मिले हैं.