अलवर.रेमडेसिविर इंजेक्शन के साथ अब सरकारी अस्पताल में कोरोना के गंभीर मरीजों को 33 हजार 957 रुपये का टाेसिलिजुमेब इंजेक्शन नि:शुल्क मिलेगा, लेकिन उसके लिए मरीजों को 7650 की 6 जांच करानी होगी. ये जांच निजी लैब में होगी. हालांकि अभी तक अलवर में किसी भी मरीज को ये इंजेक्शन नहीं लगा है. लेकिन स्वास्थ्य विभाग की तरफ से इंजेक्शन लगाने की तैयारी पूरी कर ली गई है. यह इंजेक्शन फेफड़ाेें में काेराेना संक्रमण राेकने के काम आएगा. डॉक्टर की डिमांड पर यह इंजेक्शन लगाया जाएगा.
सरकार ने सरकारी अस्पताल के मरीजाें के लिए ना ताे इन जांचाें के लिए काेई सरकारी रेट निर्धारित की है और ना ही अस्पताल में जांच की सुविधा शुरू की गई है. पिछले साल सितंबर में 6 जांच की सुविधा शुरू करने के लिए सीएमएचओ ने निदेशालय काे पत्र ताे लिखे, लेकिन उनका काेई जवाब नहीं आया. काेराेना की दूसरी लहर के खतरनाक दाैर में भी सरकार इन जांचाें की सुविधा शुरू नहीं कर रही है. जरूरी नहीं कि मरीज इंजेक्शन लगवाने के लिए ही ये जांच कराएंगे. मरीज के फेंफड़ाें में संक्रमण का स्तर देखने के लिए भी इन जांचाें की बेहद जरूरत है, लेकिन ये सरकारी अस्पतालाें में उपलब्ध नहीं हाेने के कारण परिजन अपने स्तर पर ही इन महंगी जांचाें काे प्राइवेट लैब पर कराने काे मजबूर हाे रहे हैं.
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सीएमएचओ डाॅ. ओम प्रकाश मीणा के मुताबिक टाेसिलिजुमेब इंजेक्शन निजी अस्पतालाें काे शुल्क के साथ और सरकारी अस्पताल के मरीजाें काे नि:शुल्क उपलब्ध कराए जाएंगे. सरकारी अस्पताल में मरीज काे इस इंजेक्शन काे लगाने की जरूरत पड़ेगी ताे मरीज के इससे पहले हाेने वाली 6 जांच अपने स्तर पर ही प्राइवेट लैब पर करानी पड़ेगी. इस जांच की सरकारी अस्पताल में सुविधा उपलब्ध नहीं है.
इन 6 जांचों से पता चलेगा काेराेना संक्रमण का स्तर