अजमेर. कहते हैं आवश्यकता आविष्कार की जननी होती है. कोरोना की दूसरी लहर में कोरोना मरीजों को होम क्वॉरेंटाइन किया जा रहा है. कई लोग ऐसे हैं जिनके घरों में क्वॉरेंटाइन की समुचित व्यवस्था नहीं है. ऐसे में घर के अन्य सदस्य भी संक्रमण का शिकार हो रहे हैं. ऐसे लोगों की सहायता के लिए अजमेर के रामनगर क्षेत्र में पार्षद की पहल से समाजसेवियों ने मिलकर 2 दिन में 50 बेड का आइसोलेशन सेंटर तैयार कर दिया. चिकित्सीय आवश्यक उपकरण के साथ सेंटर में 5 ऑक्सीजन कंसंट्रेटर भी हैं. सेंटर में रहने, खाने और चिकित्सीय सेवा पूर्ण रूप से निशुल्क रखी गई है.
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कोरोना संक्रमण की दूसरी लहर की चेन तोड़ने के लिए राज्य सरकार अपने प्रयास कर रही है. वहीं दूसरी और समाजसेवी संस्थाएं भी इस दिशा में अनुकरणीय कार्य कर रही हैं. कोरोना की प्रथम लहर से मुकाबला करने के लिए सरकार ने आइसोलेशन सेंटर खोले थे. लेकिन इस बार केवल बेवजह सड़कों पर घूम रहे लोगों को सबक सिखाने के लिए आइसोलेशन सेंटर खोले गए हैं. साथ ही लोगों को घर पर ही क्वॉरेंटाइन किया जा रहा है. ऐसे में कोरोना से संक्रमित हुए लोगों को घरों में क्वॉरेंटाइन रहने में काफी समस्या आ रही है.
2 दिन में तैयार किया 50 बेड का आइसोलेशन सेंटर मानसिक तनाव के साथ-साथ घर के अन्य सदस्यों को भी संक्रमण होने का खतरा रहता है. ऐसी स्थिति में आइसोलेशन सेंटर की काफी कमी देखी जा रही है. सरकार और प्रशासन के स्तर पर आइसोलेशन सेंटर नहीं खोले गए हैं. ऐसे में कई समाजसेवी संस्थाओं ने आइसोलेशन सेंटर खोलकर कोरोना के प्रारंभिक लक्षण वाले मरीजों को बड़ी राहत दी है. रामनगर स्टेट पंचोली चौराहे के पास करणी का सदन में 50 बेड का आइसोलेशन सेंटर भगवान धन्वंतरि निशुल्क आइसोलेशन सेंटर खोला गया है.
खास बात यह है कि ऑक्सीजन की कमी की वजह से लोगों को इधर-उधर भटकना पड़ता है. इस सेंटर में 5 ऑक्सीजन कंसंट्रेटर की भी व्यवस्था की गई है. इनमें 3 ऑक्सीजन कंसंट्रेटर सेंटर पर और दो ऑक्सीजन कंसंट्रेटर वार्ड में घर पर आइसोलेट हुए मरीजों के लिए व्यवस्था की गई है. समाजसेवी विकास लालवानी ने बताया कि ऑपरेशन सेंटर में रखे जाने वाले मरीजों के लिए जरूरी चिकित्सीय उपकरण की खरीद भी कर ली गई है. इनमें गोलकोज मीटर, ऑक्सीमीटर, डायबिटीज और ब्लड प्रेशर नापने की मशीनें, मरीज को स्टीम देने की मशीनों के अलावा ऑक्सीजन कंसंट्रेटर की भी व्यवस्था की गई है.
क्षेत्र के पार्षद ज्ञान सारस्वत की पहल पर समाजसेवियों ने सहयोग देते हुए सेंटर पर मरीजों के चिकित्सीय उपकरण की व्यवस्था ही नहीं बल्कि सेंटर पर साफ-सफाई सैनिटाइज एवं 8 -8 घंटे की ड्यूटी में नर्सिंग स्टाफ की भी व्यवस्था की है. पार्षद ज्ञान सारस्वत ने बताया कि सेंटर पर 6 कमरों में 50 बेड उपलब्ध करवाए गए हैं. सुबह चाय नाश्ता, दिन का भोजन, दोपहर में फल और रात्रि भोजन की भी संपूर्ण व्यवस्था सेंटर पर की गई है. इसके अलावा मरीजों का मनोबल बढ़ाने के लिए ऑनलाइन हास्य कवि की प्रस्तुति के साथ ही संतों के प्रवचन और शुद्धि के लिए हवन की व्यवस्था भी सेंटर पर रहेगी.
सेंटर का प्रयास है कि चेस्ट स्पेशलिस्ट वरिष्ठ चिकित्सक की विजिट प्रतिदिन सेंटर पर हो ऐसे प्रयास भी किए जा रहे हैं. सारस्वत ने बताया कि घरों पर क्वॉरेंटाइन हुए कई लोग ऐसे हैं जिनके पास घर में क्वॉरेंटाइन रहने की समुचित व्यवस्था नहीं है. ऐसे में घर के लोग भी कोरोना से संक्रमित हो रहे हैं. आइसोलेशन सेंटर ऐसे लोगों की सहायता के उद्देश्य से ही खोला गया है. उन्होंने बताया कि बुधवार को सेंटर का शुभारंभ होगा, इसके बाद सेंटर संचालित होने पर सुविधाओं में और भी बढ़ोतरी करने का प्रयास किया जाएगा. कहते हैं जहां चाह है वहां राह है.