जोधपुर. रेल मंत्रालय रेल सेवाओं को सुचारू करने के लिए आईआरसीटीसी के माध्यम से कुछ ट्रेनों का संचालन कर रहा है. इस कड़ी में लखनऊ से दिल्ली, अहमदाबाद से मुंबई सहित कई प्रमुख शहरों के बीच ट्रेने शुरू होने जा रही है. इनका संचालन रेलवे की कंपनी ही कर रही है, लेकिन रेल कर्मियों को इसमें निजीकरण की आहट सुनाई दे रही है.
जोधपुर मण्डल के 100 स्टेशनों पर प्रदर्शन जिसके चलते अब इसका विरोध शुरू हो गया है. शुक्रवार को जोधपुर रेल मंडल में 100 स्टेशन पर नॉर्थ वेस्ट रेलवे यूनियन के कर्मचारियों ने प्रदर्शन कर विरोध जताया. यूनियन के पदाधिकारियों का कहना है कि केंद्र सरकार की रेलवे को लेकर नीति सही नहीं है. उनका आरोप है कि सरकार की मंशा रेलवे को जल्द से जल्द निजी हाथों में सौंपने की है.
पढ़ें: RCA का सियासी दंगल : रामप्रकाश चौधरी ने कहा- एक तो राजस्थान का जाट और दूसरा संघ का कार्यकर्ता हूं, घुटने नहीं टेकूंगा
इसी कड़ी में निजी ट्रेनों का संचालन शुरू किया जा रहा है. इसका सीधा नुकसान रेल कर्मचारियों और आम जनता को होगा. जोधपुर मंडल के कुछ स्टेशन पर भी एनडब्ल्यूआरईयू के कर्मचारियों ने प्रदर्शन कर विरोध जताया. यहां महेंद्र सब्बरवाल के नेतृत्व में प्रदर्शन करते हुए कर्मचारियों ने रेलवे के निजीकरण को पूरा नहीं होने देने की बात दोहराते हुए शुक्रवार को लूनी जंक्शन रेलवे स्टेशन पर रेलवे द्वारा बनाई गई निजीकरण की नीति को लेकर रेलवे यूनियन के कर्मचारियों ने भारत सरकार व रेल मंत्री के खिलाफ नारे लगाकर अपना विरोध प्रदर्शन किया.