करौली.राजस्थान सरकार के पूर्व मंत्री एवं सपोटरा से विधायक रमेश चंद मीणा ने मुख्यमंत्री अशोक गहलोत को पत्र भेजकर चिकित्सकीय परीक्षण व्यवस्थाओं की विसंगतियों को दूर करने व चिकित्सकीय परीक्षण व्यवस्था को सुदृढ़ एवं पारदर्शी बनाने की मांग की है, जिससे पीड़ितों को राहत मिल सके.
पूर्व मंत्री रमेश चंद्र मीणा ने बताया कि जिले में जनसुनवाई में मिली शिकायतों से ध्यान में आया है कि गांवों में सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र अथवा प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र में झगड़ा होने पर घायलों को बिना मेडिकल किए करौली से जयपुर रेफर किया जाता है. जहां उनका उपचार होता है. लेकिन वहां पर उनका मेडिकल नहीं किया जाता, जिससे घायलों के वापस अपने क्षेत्र में लौटने पर संबंधित सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र तथा प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र पर पुलिस की अनुशंसा पर ही घायल का मेडिकल किया जाता है.
इस प्रक्रिया में कई दिन का समय व्यतीत होने के कारण चोट की प्रकृति बदल जाती है और मेडिकल करने वाले चिकित्सक को ब्लंट अथवा धारदार होने के संबंध में राय नहीं देकर उसे टांके लगा जाते हैं. या घाव भरा हुआ होने आदि का विवरण मेडिकल रिपोर्ट में कर देते हैं. साथ ही एक्स-रे रिपोर्ट में भी अस्थि भंग की सही स्थिति नहीं दिखाते.