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भीषण गर्मी का सितम.. कोई भी सब्जी 50 रुपए किलो से कम नहीं, हरी सब्जियां थाली से गायब, आम की चटनी बनी सहारा - Hence the rising prices of vegetables

शहडोल जिले में इन दिनों भीषण गर्मी पड़ रही है. तापमान हर दिन बढ़ रहा है. भीषण गर्मी से जूझ रहे लोगों को एक ओर जहां मुसीबतों का सामना करना पड़ रहा है तो वहीं गर्मियों के चलते कई सब्जियों के दाम 15 से 20 फ़ीसदी तक बढ़ गए हैं.आलम ये है कि शहडोल जिले में इन दिनों हरी सब्जियां लोगों की थाली से गायब हो रही हैं. अधिकतर सब्जियों के दाम ₹50 किलो से ज्यादा हैं, जो आम आदमी के पहुंच से दूर होती जा रही हैं. (No vegetable is less than 50 rupees a kg) (Green vegetables are missing from the plate)

No vegetable is less than 50 rupees a kg
कोई भी सब्जी 50 रुपए किलो से कम नहीं

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Published : May 7, 2022, 6:12 PM IST

शहडोल। शहडोल जिले में इन दिनों भीषण गर्मी का सितम जारी है. लोगों का हाल बेहाल है. इस प्रचंड गर्मी की वजह से अब सब्जियों के दाम में भी भारी उछाल है. लोगों की थाली से हरी सब्जियां गायब हो रही हैं. इन दिनों में जो सब्जियां कभी पंद्रह से ₹20 प्रति किलो मिल जाया करती थीं, वो सब्जियां अब ₹50 से नीचे नहीं मिल रही हैं. लोगों का कहना है कि अब आम की चटनी ही सहारा बनी है. वहीं, सब्जी व्यापारियों का कहना है कि अभी रेट और बढ़ेंगे, क्योंकि भीषण गर्मी के कारण बाहर से सप्लाई कम है और खेत में लगी सब्जियां झुलस रही हैं.

कोई भी सब्जी 50 रुपए किलो से कम नहीं

हर सब्जी के भाव पकड़ से बाहर :शहडोल मंडी में सब्जियों के दाम पर नजर डालें तो गिलकी जहां ₹60 प्रति किलो मिल रही है. लौकी 20 से ₹25 प्रति किलो मिल रही है. करेला ₹60 किलो, परवल ₹80किलो, बरबटी ₹60 किलो, भिंडी 40 से 60 के बीच, खीरा 20 से 25 के बीच, ककड़ी 30 से 35 के बीच, धनिया ₹100 प्रति किलो, मिर्ची ₹100 प्रति किलो, नींबू ढाई सौ रुपये प्रति किलो और अगर एक नींबू लेंगे तो उसके लिए ₹10 देना पड़ेगा, टमाटर 20 से ₹25 प्रति किलो, बैगन 30 से ₹35 प्रति किलो, आलू ₹20 किलो और प्याज ₹15 किलो, शिमला मिर्च ₹80 प्रति किलो, पत्ता गोभी 30 से ₹40 प्रति किलो, फूलगोभी ₹60 प्रति किलो, कद्दू ₹30 प्रति किलो और अदरक 40 से ₹50 प्रति किलो मिल रहा है.

कोई भी सब्जी 50 रुपए किलो से कम नहीं

लोगों ने कहा- अब आम की चटनी ही सहारा :जिस तरह से हरी सब्जियों के दामों में भारी उछाल देखने को मिला है, उसके बाद जब ईटीवी भारत के संवाददाता ने लोगों से बात की तो उनका यही कहना है कि अब तो वो लोग हरी सब्जियां बहुत कम खरीद रहे हैं, जहां दो किलो सब्जी खरीदते थे, अब एक किलो सब्जी से ही काम चला रहे हैं. कुछ लोगों ने तो ये भी कहा कि इसके अलावा इन दिनों आम की चटनी ही एक बहुत बड़ा सहारा बन रही है, जिस तरह से भीषण गर्मी पड़ रही है सब्जियों के दाम में भारी उछाल है. उसके बाद लोगों की थाली से अब हरी सब्जियां गायब हो रही हैं.

कोई भी सब्जी 50 रुपए किलो से कम नहीं

इसलिए बढ़ रहे सब्जियों के दाम :आखिर सब्जियों के दाम में अचानक इतना उछाल क्यों आया है. इसको लेकर सब्जी व्यापारी अमित कुमार गुप्ता बताते हैं कि जिस तरह से जिले में भीषण गर्मी पड़ रही है.गर्मी ने सारे रिकॉर्ड तोड़ दिए हैं. उसकी वजह से जो लोकल से सब्जियां आती थीं, उसकी आवक कम हो गई है. बढ़ते तापमान की वजह से किसानों की फसलें भी कमजोर हो चुकी हैं. पैदावार कम हो गई है, जिसके चलते लोकल से माल कम आ रहा है और जो बाहर से माल आ रहा है, वह इतना नहीं आ पा रहा है, जो यहां की आवश्यकता पूरी कर सके. इसके अलावा प्रचंड गर्मी की वजह से ज्यादा दिन तक सब्जियों को रख भी नहीं सकते हैं.

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पेट्रोल डीजल के दाम भी आसमान पर :व्यापारी बताते हैं कि शहडोल जिले में जबलपुर, बिलासपुर, रायपुर जैसी जगहों से सब्जियां आती हैं, ट्रांसपोर्ट चार्ज भी ज्यादा लग रहा है, जिसके चलते सब्जियां महंगी हैं और अभी सब्जियों के दाम घटने के आसार भी नजर नहीं आ रहे हैं. क्योंकि अभी लगातार गर्मी पड़ेगी. तापमान बढ़ता जाएगा. बाहर से आने वाली सब्जी महंगी ही मिलेगी.

सब्जी की फसलों का किसान ऐसे रखें ख्याल :

कृषि वैज्ञानिक डॉ. मृगेंद्र सिंह कहते हैं " जिस तरह से तापमान बढ़ा है, उसे देखते हुए जो सब्जियों के किसान. अपनी फसल में वो इरीगेशन की फ्रीक्वेंसी बढ़ा दें. मतलब जो सिंचाई करते हैं, मान लीजिए कि एक हफ्ते के अंतराल में करते हैं तो उन्हें तीन दिन चार दिन में करनी चाहिए. अगर सम्भव हो तो किसान स्प्रिंकलर से सिंचाई करें, वो भी दोपहर के बाद. ये सबसे बेहतर तरीका है सिंचाई करने का, किसान भाई सिंचाई के अंतराल को कम करें."

(No vegetable is less than 50 rupees a kg) (Green vegetables are missing from the plate)

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