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भंडारण की कमी से हजारों मेट्रिक टन धान खुले आसमां में भगवान भरोसे - satna news

खरीफ विपणन वर्ष 2020-21 में न्यूनतम समर्थन मूल्य पर धान की खरीदी का रिकॉर्ड किए जाने के बाद नागरिक आपूर्ति निगम के सामने अब धान भंडारण के लिए समस्या खड़ी है.

Thousands of metric tons of paddy in open due to lack of storage in Satna
26 हजार मेट्रिक टन धान दूसरे जिलों में भंडारण के लिए भेजा गया.

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Published : Jan 30, 2021, 5:47 AM IST

सतना।खरीफ विपणन वर्ष 2020-21 में न्यूनतम समर्थन मूल्य पर धान की खरीदी का रिकॉर्ड किए जाने के बाद नागरिक आपूर्ति निगम के सामने अब धान भंडारण के लिए समस्या खड़ी है. इस बार जिले में करीब 3 लाख 97 हजार मेट्रिक टन धान की खरीदी 59 हजार से ज्यादा किसानों से की गई हैं. उपार्जन कार्य पिछले 15 जनवरी को बंद कर दिए जाने के 1 सप्ताह बाद भी खरीदी केंद्रों में हजारों मेट्रिक टन धान गोदाम में नहीं रखे जाने के कारण खुले आसमान में पड़ी हुई है.

दूसरे जिले में भेजा गया धान

भंडारण समस्या कम किए जाने को लेकर नागरिक आपूर्ति निगम ने एक उपाय निकाला है, जिसके तहत 26 हजार मेट्रिक टन धान दूसरे जिलों में भंडारण के लिए भेजे जाने का निर्णय लिया गया हैं. इसी कड़ी में पिछले दिनो 5 ट्रको से लगभग 10 हजार मेट्रिक टन धान की खेप सतना से होशंगाबाद भेजी गई हैं.

अभी उपार्जन केंद्र में भंडारण के अभाव में करीब डेढ़ लाख क्विंटल धान के लिए गोदाम नहीं मिल रहे हैं. वही खुले में पड़ी धान को यदि समय पर गोदामों में नहीं रखवाया गया तो गुणवत्ता और सुरक्षा को लेकर खतरा और भी बढ़ने की आशंका है. बता दे नागरिक आपूर्ति निगम ने जिले के बाहर 16 हजार मैट्रिक टन धान और भेजे जाने के लिए जल्द से जल्द रेल हेड पर 8 रैक और उपलब्ध कराए जाने की मांग की है.

भंडारण क्षमता एवं खरीदी

कुल पंजीकृत किसान करीब - 72290

विक्रेता किसान करीब - 59195

खरीदी गई धान की मात्रा - 3 लाख 97 हजार 800 मेट्रिक टन

उपार्जन केंद्रों की संख्या - 135

इस मामले पर नागरिक आपूर्ति निगम के अधिकारी विख्यात इंडोलिया ने बताया कि जिले में जितना टारगेट था उससे अधिक की खरीदी की गई है, जिसके कारण जिले में धान भंडारण क्षमता कम होने की वजह से होशंगाबाद जिले भेजी जा रही है. जिले में वेयर हाउस की भंडारण क्षमता करीब चार लाख मैट्रिक टन की है, इसमें पूर्व में वर्ष का गेहूं और अन्य चीजें में भंडारित है, जिसकी वजह से धान अन्य जिलों में भेजी जा रही है. इस सीजन में धान 3 लाख 97 हजार 800 मेट्रिक टन धान की खरीदी हुई है, जबकि पिछले वर्ष 2 लाख 47 हजार मेट्रिक टन धान की खरीदी हुई थी.

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