रीवा। जिले के त्योंथर विधानसभा से पूर्व बीजेपी विधायक और उमा भारती की सरकार में मंत्री रहे रमाकांत तिवारी का गुरुवार को निधन हो गया. तिवारी 88 साल के थे और लंबे समय से बीमार चल रहे थे. उनके निधन से विंध्य क्षेत्र में शोक की लहर है. रमाकांत तिवारी के निधन के बाद मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान, गृह मंत्री नरोत्तम मिश्रा, बीजेपी प्रदेश अध्यक्ष वीडी शर्मा, जबलपुर से राज्यसभा सांसद विवेक तन्खा और बीजेपी के राष्ट्रीय महासचिव कैलाश विजयवर्गीय ने ट्वीट कर श्रद्धांजलि दी है.
बीजेपी राष्ट्रीय महासचिव कैलाश विजयवर्गीय ने ट्वीट कर लिखा है कि, बीजेपी नेता एवं पूर्व मंत्री रमाकांत तिवारी के निधन का दुःखद समाचार प्राप्त हुआ. ईश्वर उन्हें अपने श्रीचरणों में स्थान प्रदान करें.
राज्यसभा सांसद विवेक तन्खा ने रमाकांत तिवारी को श्रद्धांजलि अर्पित करते हुए लिखा है कि, 'विन्ध्य क्षेत्र के वरिष्ठ जननेता, पूर्व विधायक रमाकांत तिवारी के निधन के समाचार से दुखी हूं. सच्चे अर्थों में जनसेवक रमाकांत तिवारी से मेरा बड़ा आत्मिक संबंध था. ईश्वर उन्हें शांति और उनके परिवार को दुःख सहने की शक्ति प्रदान करे'.
CM शिवराज सिंह चौहान ने भी रमाकांत तिवारी के निधर पर दुःख जताया, साथ ही उन्होंने ट्वीट करते हुए लिखा है कि, 'पूर्व मंत्री श्री रमाकांत तिवारी जी के निधन के समाचार को सुनकर अत्यंत दु:ख हुआ, ईश्वर से दिवंगत आत्मा को अपने श्री चरणों में स्थान और परिजनों को यह वज्रपात सहन करने की शक्ति देने की प्रार्थना करता हूं'
रमाकांत तिवारी का राजनीतिक सफर
- साल 1990 में कांग्रेस पार्टी के टिकट से विधानसभा चुनाव लड़े.
- रमाकांत तिवारी ने साल 1998 में बीजेपी की टिकट से चुनाव लड़े, जिसके बाद वो लगातार 2003 का चुनाव भी जीते. इसके बाद साल- 2013 में एक बार फिर वो भारतीय जनता पार्टी के टिकट से विधायक चुने गए . तिवारी 2003 में बनी उमा भारती की सरकार में कैबिनेट मंत्री बनाए गए. उसके बाद उन्हें पशुपालन मंत्री का भी प्रभार सौंपा गया.
- मंत्री रहते हुए रमाकांत तिवारी ने रीवा जिले के लिए बहुत से काम किए और विकास का नया मॉडल तैयार किया.
- साल 2018 में भी उन्हें विधानसभा के लिए बीजेपी का टिकट मिला था, लेकिन तबीयत बिगड़ने की वजह से उन्होंने चुनाव लड़ने से इनकार कर दिया. जिसके बाद 2018 के विधानसभा चुनाव में भारतीय जनता पार्टी को अपना नया उम्मीदवार तैयार करना पड़ा.