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170 में पहली बार भगवान जगन्ननाथ की रथ यात्रा पर लगी रोक, आदेश जारी

170 साल पुरानी ऐतिहासिक रथ यात्रा पर कोरोना का ग्रहण लग गया है और कोरोना वायरस संक्रमण के चलते इस बार रथ यात्रा नहीं निकली जाएगी. केलक्टर ने इसके लिए आदेश जारी करते हुए लोगों से अपने घरों में दीप जलाकर रथयात्रा महोत्सव मनाने की अपील की है. कोरोना संक्रमण के मद्देनजर ये फैसला लिया गया है.

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Published : Jun 21, 2020, 11:44 PM IST

Lord Jagannath's chariot journey
भगवान जगन्ननाथ की रथ यात्रा

पन्ना।भगवान जगन्नाथ स्वामी की रथ यात्रा महोत्सव पन्ना में बड़े ही धूमधाम और भव्यतापूर्वक मनाया जाता रहा है, लेकिन कोरोना महामारी के चलते इस साल इस यात्रा में शामिल होने के लिए लोगों को अनुमति नहीं दी गई है. कलेक्टर ने इसके लिए आदेश भी जारी कर दिए हैं. हर साल निकलने वाली इस ऐतिहासिक जगन्नाथ रथ यात्रा में हजारों श्रद्धालु शामिल होते थे, लेकिन इस साल कोरोना संक्रमण के खतरे के चलते जिला प्रशासन ने रथ यात्रा में शामिल होने के लिए लोगों को अनुमति नहीं दी है. जिसके कारण अब सादे रुप में रथ यात्रा महोत्सव मनाया जाएगा. बताया जाता है कि राजशाही के समय रथ यात्रा बेहद शाही अंदाज में निकाली जाती थी.

पन्ना के भगवान जगन्ननाथ

पन्ना रियासत की सेना के हाथी, घुड़सवार और सैनिक इस यात्रा में शामिल होते थे और रथ यात्रा की वैभवता देखने लायक होती थी. जगन्नाथपुरी के बाद पन्ना ऐसी दूसरी जगह है, जहां भगवान जगन्नाथ की रथ यात्रा धूमधाम से निकाली जाती है. मंदिर के पुजारी पं. राकेश कुमार गोस्वामी ने बताया कि हमने जब से देखा तब से रथ यात्रा निकल रही है. तत्कालीन पन्ना महाराज ठाकुर किशोर सिंह, भगवान के विग्रह को रथ में सजाकर जगन्नापुरी से चार माह पैदल यात्रा करके पन्ना लाए थे.

ऐतिहासिक भगवान जगन्ननाथ की रथ यात्रा पर लगी रोक

राकेश कुमार गोस्वामी ने बताया कि यहां उन्होंने पहले से ही मंदिर निर्माण के निर्देश दे दिए थे, जब तक वे भगवान को लेकर पन्ना पहुंचे तब तक राजमहल के अंदर ही भव्य मंदिर बनकर तैयार था. जहां संवत 1874 को वैदिक मंत्रोच्चार के साथ तीनों प्रतिमाओं के विग्रह की प्राण-प्रतिष्ठा हुई. इसके बाद गोस्वामी परिवार के लोग ही पीढ़ियों से मंदिर की सेवा करते आ रहे हैं. उन्होंने बताया कि मंदिर में भगवान की प्राण प्रतिष्ठा के करीब 36 साल बाद महाराज किशोर सिंह के समय रथ यात्रा शुरू हुई थी.

पन्ना में भगवान जगन्ननाथ मंदिर

इस बार 170 साल पुरानी ऐतिहासिक रथ यात्रा पर कोरोना का ग्रहण लग गया है और कोरोना वायरस संक्रमण के चलते इस बार रथ यात्रा नहीं निकली जाएगी. स्थानीय लोगों का मानना है कि जब से उन्होंने होश संभाला है तब से इस धार्मिक परंपरा हो यूं ही देखते आ रहे हैं, लेकिन ऐसा पहली बार हो रहा है कि कोरोना संक्रमण के कारण भगवान जन्ननाथ की रथ यात्रा नहीं निकाली जाएगी. उन्हें इससे दु:ख पहुंचा है, लेकिन मौजूदा हालातों को देखकर यात्रा नहीं निकालना सही फैसला है.

दीप जलाकर रथयात्रा महोत्सव मनाए

पन्ना कलेक्टर कर्म वीर शर्मा ने भगवान के भक्तों से अपील करते हुए कहा कि कोरोना वायरस संक्रमण के चलते लोग अपने घरों में दीप जलाकर रथयात्रा महोत्सव मनाएं.

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