मुरैना। पूर्व मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने सबलगढ़ तहसील के बटेश्वर गांव में बाढ़ प्रभावित क्षेत्र का दौरा किया. पूर्व सीएम के साथ क्षेत्रीय सांसद नरेंद्र सिंह तोमर भी मौजूद रहे. शिवराज सिंह ने गांधी सागर और कोटा बैराज से छोड़े गए पानी की जांच की मांग प्रदेश सरकार से की है.
शिवराज सिंह का आरोप है कि यह पानी षड्यंत्र के तहत छोड़ा गया है. उन्होंने कहा कि जब रतलाम मंदसौर और कोटा में लंबे समय से बारिश हो रही थी. तब यह पानी धीरे-धीरे क्यों नहीं निकाला गया. इसे रोक कर रखना और फिर एक साथ क्षमता से अधिक होने पर छोड़ा जाना, यह अप्रत्याशित बाढ़ लाने वाला एक षड्यंत्र है. जिसकी जांच की जानी चाहिए.
मुरैना दौरे पर पहुंचे शिवराज शिवराज सिंह चौहान ने कहा कि चंबल के किनारे कि करीब 1 किलोमीटर से ज्यादा क्षेत्र में गांव और उस क्षेत्र के अंतर्गत आने वाली सभी फसल 100 फ़ीसदी नष्ट हो गई है. इसलिए प्रदेश सरकार को चाहिए कि वह सभी किसानों को बिना सर्वे किए मुआवजा दिया जाए. उन्होंने तत्काल सभी किसानों को 25हजार नगद आर्थिक सहायता 50 किलो गेहूं तत्काल देने की मांग की.शिवराज सिंह ने कहा फसल के नुकसान को 100 फ़ीसदी मानते हुए 4हजार प्रति हेक्टेयर मुआवजा राशि देने की बात भी कही है.
साथ ही शिवराज सिंह ने यह भी कहा कि किसान के बिजली के बिल माफ होने चाहिए क्योंकि वे देने में सक्षम नहीं है.साथ ही आने वाली रवि फसल के लिए खाद और बीज बिना ब्याज के ऋण पर मिले. शिवराज सिंह चौहान ने कमलनाथ सरकार पर व्यंग करते हुए कहा कि वह अपना चुनावी वादा पूरा करें और 2लाख तक के किसानों के कर्ज माफ करें. क्योंकि 24 घंटे में माफ होने वाले कर्ज को अब 8 महीने का समय व्यतीत हो गया है. कम से कम अब तो माफ कर दो.वहीं उन्होंने प्रदेश सरकार को चेतावनी हुए कहा कि अगर किसानों को तत्काल मदद नहीं दी गई तो, 20 सितंबर को विधानसभा पर धरना देंगे और उसके बाद महाभीषण आंदोलन पूरे प्रदेश में छोड़ेंगे.