मुरैना। चंबल के अटार घाट पर अवैध स्टीमर का संचालन किया जा रहा है. नाव मे क्षमता से ज्यादा सवारी और वाहनों को रखकर पार कराया जाता है. वहीं लोगों से अवैध वसूली भी की जाती है. लेकिन प्रशासन का इस ओर कोई ध्यान नहीं जा रहा है.
चंबल नदी के अटार घाट पर अवैध स्टीमर का संचालन, यात्रियों से बसूले जा रहे ज्यादा रूपए
चंबल के अटार घाट पर अवैध स्टीमर का संचालन किया जा रहा है. नाव मे क्षमता से ज्यादा सवारी और वाहनों को रखकर पार कराया जाता है.
दरअसल, मुरैना की सीमाएं यूपी और राजस्थान की सीमाओं से मिलती हैं. जिसके बीच चंबल नदी की सीमा रेखा है. दोनों प्रदेशों के बीच बहने वाली चंबल नदी से लोगों का आना जाना लगा रहता है. सबलगढ़ तहसील के क्षेत्र और अंबाह तहसील के दो जगहों पर बारिश के समय प्लाटून पूल हटा दिया जाता है. इसके बाद भी यहां ठेकेदारों द्वारा अवैध रूप से नाव द्वारा यात्रियों को आवागमन कराया जाता है.
बता दें नाव में भारी संख्या में यात्रियों के साथ चार पहिया और बाइक को रखकर ले जाया जाता है. जिसके चलते हजारों लोग जान हथेली पर रखकर मौत की नाव में सफर करने को मजबूर हैं. ग्रामीणों के मुताबिक इस नाव की क्षमता 40 यात्रियों की है. लेकिन नाव में 100 से ज्यादा लोगों बैठाया जाता है. इतना ही नहीं नाव में कार और बाइक भी रखी जाती है. ऐसे में हर वक्त नाव पलटने का डर बना रहता है. खासकर बरसात में मौसम में चम्बल नदी कभी भी उफान पर आने पर डर हमेशा सताये रहता है. सबलगढ़ और कैलारस के लोग राजस्थान में इसी रास्ते से जाते हैं, क्योकि वह मुरैना होकर जाएंगे तो लोगों को 100 किलोमीटर तक का अंतर पड़ जाता है.