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जान जोखिम में डालकर स्कूल जाने को मजबूर हैं बच्चे, अधिकारियों ने मूंदी आंखें - no bridge

असावती गांव में मंजूरी मिलने के बावजूद पुल का निर्माण नहीं होने से लोगों को परेशानी का सामना करना पड़ता है. थोड़ी ही बारिश में पुल पर बाढ़ जैसी स्थिती बन जाती है. जिससे स्कूली बच्चें भी जान जोखिम में डालकर रस्सी के सहारे पुल पार करने को मजबूर है.

रस्सी के सहारे पुल पार करते स्कूली बच्चें

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Published : Aug 9, 2019, 12:05 AM IST


मंदसौर। शामगढ़ के असावती गांव में एक सड़क और उसके बीच पढ़ने वाले नाले पर पूल का निर्माण ना होने से 11 गांव के लोग खासे परेशान हैं. बरसात के सीजन में इस नाले की वजह से यहां आम लोग तो परेशान है ही, स्कूली छात्रों को भी अब जान जोखिम में डालकर रस्सी के सहारे स्कूल जाना पड़ रहा है.

जान जोखिम में डालकर स्कूल जाने को मजबूर

गांव से अजयपुर को जोड़ने वाली सड़क का निर्माण ना होने से रास्ता अब आम लोगों के साथ ही स्कूली छात्रों के लिए भी खतरे का सबब बन चुका है. बारिश में इस रास्ते के बीच पड़ने वाला नाला उफन पर है. इस मामले में स्कूली छात्रों और प्रिंसिपल ने शिकायत करते हुए कहा कि जनप्रतिनिधियों और प्रशासनिक अधिकारियों को अवगत करवाने के बावजूद नतीजा ढाक के तीन पात ही रहा. बरसात के सीजन में यहां आम लोगों के साथ ही स्कूली छात्रों को भी इसी तरह आए दिन एक रस्सी के सहारे इस नाले को पार करना पड़ रहा है.

असावती से उदयपुर कटिया को जोड़ने वाली इस सड़क के लिए ग्रामीण सड़क विकास विभाग ने प्रधानमंत्री सड़क योजना में 12 करोड़ 70 लाख रूपए राशि की मंजूरी भी दे दी है, लेकिन प्रशासनिक अधिकारियों की लापरवाही की वजह से मंजूरी के डेढ़ साल बाद भी इस सड़क का निर्माण नहीं हुआ है. लिहाजा यहां आम लोगों के अलावा स्कूली छात्रों को भी अब अपनी जान जोखिम में डालनी पड़ रही है. हालांकि इस मामले के सामने आने के बाद कलेक्टर मनोज पुष्प ने समस्या का जल्द ही निराकरण करने की बात कही है.

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