मध्य प्रदेश

madhya pradesh

ETV Bharat / state

कम बारिश से मंडराया सूखे खतरा, किसानों के साथ कृषि विभाग भी चिंता में

मंदसौर में अभी भी औसत बारिश का आंकड़ा 12 इंच पर ही अटका हुआ है. जबकि पिछले साल इन दिनों बरसात ने 47 इंच के आंकड़े को पार कर लिया था. पर्याप्त बारिश नहीं होने के कारण अब यहां फसल उत्पादन प्रभावित होने की आशंका बढ़ गई है.

Mandsaur farmer
मंदसौर का किसान

By

Published : Aug 20, 2020, 10:05 PM IST

Updated : Aug 20, 2020, 10:35 PM IST

मंदसौर।प्रदेश के पूर्वी जिलों में मानसून का कहर जारी है. तो वहीं मालवा क्षेत्र सूखे की चपेट में आने की कगार पर है. धीरे-धीरे मानसून का सीजन बीतता जा रहा है, लेकिन मंदसौर जिले में तमाम नदी नाले अभी तक सूखे पड़े हैं. इन हालातों से अब यहां किसानों के साथ ही प्रशासनिक अधिकारियों की भी चिंताएं बढ़ गई हैं. मंदसौर में अभी भी औसत बारिश का आंकड़ा 12 इंच पर ही अटका हुआ है. जबकि पिछले साल इन दिनों बरसात ने 47 इंच के आंकड़े को पार कर लिया था. अवर्षा के कारण अब यहां फसल उत्पादन प्रभावित होने की आशंका बढ़ गई है.

कम बारिश से मंडराया सूखे खतरा

मंदसौर जिले में बारिश नहीं होने के कारण सूखे के हालात बनते जा रहे हैं. देश के कई हिस्सों में भीषण बाढ़ की स्थिति और मानसून के पूरी तरह सक्रिय होने के बावजूद यहां कुछ स्थानों पर केवल रिमझिम फुहारें ही गिरने से आम लोगों की चिंताएं बढ़ गई हैं. पूरे सीजन में व्यापक पैमाने पर बारिश का नजारा एक बार भी देखने में नजर नहीं आया है. हालांकि खरीफ फसलों की जरूरत के मुताबिक यहां बरसाती फुहारों के गिरते रहने से अंचल में सोयाबीन और मक्के की फसल को फिलहाल कोई नुकसान नहीं हुआ है. लेकिन जिले के तमाम जल स्त्रोत अभी भी सूखे पड़े होने से किसानों के साथ कृषि विभाग के अधिकारियों की चिंताएं भी बढ़ गई हैं.

विभाग के उपसंचालक डॉ. अजीत सिंह राठौर ने बताया कि इस साल पूरी सीजन में खंड वर्षा होने से औसत बारिश का आंकड़ा, अभी तक 13 इंच को भी नहीं छू पाया है. उन्होंने कहा कि कुछ तहसीलों में खड़ी सोयाबीन और मक्का फसलों में इन दिनों दाने पकने लगे हैं, ऐसे में बरसात की जरूरत का जिक्र करते हुए उन्होंने उत्पादन प्रभावित होने की भी बात कही है.

Last Updated : Aug 20, 2020, 10:35 PM IST

ABOUT THE AUTHOR

...view details