खरगोन। रामायण से लेकर महाभारत तक पौराणिक नगरी महेश्वर का वर्णन बेहद रोचक तरीके से किया गया है. कभी रावण की हार, कभी राजा सहस्रार्जुन के द्वारा बंदी बनाए जाने के किस्से इस नगरी की गौरव-गाथा कहते हैं. इसे प्राचीन काल में महिष्मती नाम से पुकारा जाता था. नर्मदा नदी के किनारे महेश्वर शहर की सुदंता घाट, मंदिर, किले सबको अपनी ओर आकर्षित कर लेता है. इसे देखने के लिए हजारों की संख्या में सैलानी महेश्वर आते हैं.
पर्यटकों को लुभाता महेश्वर नर्मदा की कल-कल धाराओं के तट पर बसे इस शहर को रानी अहिल्या बाई होलकर ने अपनी राजधानी बनाया था. महेश्वर के राज राजेश्वर मंदिर में आज भी अखंड 11 दीपक से सजी ज्योति पुरातनकाल से प्रज्जवलित है. शांत और सुकून देने वाला महेश्वर लोगों के लिए आस्था का केन्द्र होने के कारण तीर्थ स्थल के रूप में प्रसिद्ध है.
महेश्वर के ऊंचे- ऊंचे किले पर्यटकों और विदेशी सैलानियों को सहज ही अपनी ओर खींच लेते हैं. नर्मदा के घाटों पर इन किलों के प्रतिबिंब की छटा निराली होती है. यहां के किले के प्रति अब फिल्मकार भी आकर्षित हो रहे हैं और कई फिल्मों की शूटिंग यहां हुई है. महेश्वर के हथकरघा केंद्र से बनी हुई महेश्वरी साड़ियां भी देश-विदेश में प्रसिद्ध हैं.
समय- समय पर यहां होने वाले आयोजन महेश्वर की सुंदरता में चांद लगा देते हैं. जिला प्रशासन की ओर से 4 अक्टूबर से 6 अक्टूबर तक चलने वाले महेश्वर उत्सव की तैयारियां जोरों पर है. जिसे लेकर लोगों में जबरदस्त उत्साह है. इसके लिए अभी से महल और मंदिरों को लाइटिंग के द्वारा सजाया जाता है, जिसे देखने हजारों की संख्या में सैलानी मौजूद होते हैं.
नगर परिषद अध्यक्ष प्रतिनिधि हेमन्त जैन ने बताया कि महेश्वर के सुंदर घाट और सुंदर छटा ने बालीवुड को अपनी ओर आकर्षित किया है. जिसमें सलमान, शाहरुख खान सहित धर्मेंद्र, सनी देओल सहित कई एक्टर यहां फिल्मों की शूटिंग कर चुके है. यहां रोज 10 हजार सैलानी महेश्वर देखने आते हैं.