खंडवा।पत्रकारों को धमकाने वाले कलेक्टर अनय द्विवेदी फिर विवादों में आ गए हैं. कलेक्टर ने जनसंपर्क अधिकारी का ट्रांसफर कर उन्हें रिलीव कर दिया. कलेक्टर की तानाशाही का यह मामला खंडवा से निकलकर भोपाल के प्रशासनिक गलियारों में भी गूंज रहा है. भोपाल में जनसंपर्क के अधिकारियों ने इस मामले में मुख्यमंत्री से बात की है. मुख्यमंत्री जल्द ही इस संबंध में फैसला लेंगे.
- मुख्यमंत्री के अधिकारों पर किया अतिक्रमण
दरअसल खंडवा कलेक्टर को तानाशाही कलेक्टर भी कहा जाता है. क्योंकि हर बार कलेक्टर अपनी मर्जी चलाते है. कई बार कलेक्टर ने शहर के पत्रकारों को भी घमकी दी है. इस बार कलेक्टर ने जिला जनसंपर्क अधिकारी (PRO) का ट्रांसफर कर उनको रिलीव कर दिया है. जबकि पीआरओ को ट्रांसफर करने का अधिकार सिर्फ जनसंपर्क मंत्री को होता है. वर्तमान में जनसंपर्क मंत्रालय का प्रभार मुख्यमंत्री शिवराज सिंह के पास ही है. कलेक्टर ने पीआरओ का ट्रांसफर कर के सीएम चौहान के अधिकारों पर अतिक्रमण किया है. इस संबंध में जनसंपर्क आयुक्त ने भी कहा है कि ये अधिकार कलेक्टर के पास नहीं है. कलेक्टर ने ऐसा क्यों किया है इसकी पुछताछ की जाएगी.