जबलपुर। संस्कारधानी में दुर्गा उत्सव बड़ी धूमधाम से मनाया जाता है. इस बार इस दुर्गा उत्सव में लोगों को 54 फीट ऊंची दुर्गा प्रतिमा देखने का मौका मिलेगा. जबलपुर के टेलीग्राफ फैक्ट्री के पास 54 फीट ऊंची दुर्गा प्रतिमा की स्थापना की जा रही है. अब तक जबलपुर के आसपास कहीं पर भी इतनी ऊंची प्रतिमा की स्थापना नहीं की गई है. वहीं प्रतिमा की स्थापना करने वाले मां दुर्गा उत्सव समिति का कहना है कि वह इस प्रतिमा का विसर्जन नदी या तालाब में नहीं करेंगे, बल्कि नदी और तालाब के पानी को प्रदूषित होने से बचने के लिए इस प्रतिमा का विसर्जन इसी स्थान पर किया जाएगा.
54 फीट की दुर्गा प्रतिमा: जबलपुर के गेट नंबर 4 के पास कमला नेहरू नगर में 54 फीट ऊंचाई की दुर्गा प्रतिमा की स्थापना की जा रही है. इस प्रतिमा का निर्माण 7 सितंबर से जारी है और अभी भी एक माह बीत जाने के बाद 5 दिन और लगेंगे, तब जाकर प्रतिमा पूरी तरह से तैयार हो पाएगी. मूर्ति का निर्माण कर रहे मूर्तिकार छोटेलाल चक्रवर्ती का कहना है कि "इस मूर्ति के निर्माण में 650 बास का इस्तेमाल किया गया है. लगभग 400 फीट लंबे लकड़ी के पटटे लगाए गए हैं. एक ट्राली मिट्टी लगी है ₹60000 की बांस की चटाइयां लग चुकी है. एक क्विंटल से ज्यादा कपड़ा इसमें लगाया जाएगा और 30 लीटर कलर का इस्तेमाल करके इस मूर्ति में पेंटिंग की जाएगी. एक महीने तक लगातार 12 लोग मूर्ति के निर्माण में लगे हुए हैं. तब जाकर मूर्ति अब आकार लेने लगी है.
विसर्जन के विशेष इंतजाम: मां दुर्गा उत्सव समिति के सदस्यों का कहना है कि इस मूर्ति के विसर्जन के लिए भी उन्होंने विशेष इंतजाम किया है. कई नदियों का जल यहां लाया जा रहा है और मूर्ति के ऊपर पानी की धार चलाई जाएगी और मूर्ति को इसी स्थान पर विसर्जित किया जाएगा. इतनी बड़ी मूर्ति को विसर्जन के लिए लेकर जाना भी कठिन है. वहीं समिति के सदस्यों का कहना है कि नदी या तालाब में जहां भी मूर्तियां विसर्जित की जाती हैं. वहां मूर्तियों की वजह से पानी में प्रदूषण भी फैलता है और वह आस्था के साथ अपने जल स्रोतों को भी बढ़ाने की कोशिश कर रहे हैं. इसलिए इस मूर्ति का विसर्जन इसी स्थान पर किया जाएगा. इन लोगों का कहना है कि बाकी लोगों को भी कुछ ऐसा करना चाहिए, की मूर्ति का विसर्जन उसी स्थान पर करें जहां पर मूर्ति रखी है.