जबलपुर। पुणे में पदस्थ रहते हुए करीब 58 करोड़ की ई-टिकट का पर्दाफाश करने वाले आरपीएफ के सीनियर डिविजनल सिक्योरिटी कमिश्नर अरुण त्रिपाठी को बेस्ट पुलिसिंग अवॉर्ड से नवाजा गया है. अरुण त्रिपाठी वर्तमान में वरिष्ठ मंडल सुरक्षा आयुक्त जबलपुर में तैनात हैं.
पूरे देश मे फैला था गैरकानूनी ई-टिकट का कारोबार
सीनियर डीएससी अरुण त्रिपाठी ने अपनी टीम के साथ गैरकानूनी तरीके से बनाए गए सॉफ्टवेयर से बुक होने वाली लगभग 58 करोड़ रुपये की ई-टिकट पकड़ने में सफलता हासिल की थी. सीनियर डीएससी अरुण त्रिपाठी ने ईटीवी भारत से खास बात करते हुए कहा कि पुणे में आरपीएफ ने पहला साइबर सेल खोलते हुए लगभग 58 करोड़ रु की ई-टिकट बरामद की थी, जिसमें आरपीएफ ने हजारों लोगों को गिरफ्तार करने में कामयाबी हासिल की है.
ई-टिकट का मास्टरमाइंड बेंगलुरु से हुआ गिरफ्तार
सीनियर डिविजनल सिक्योरिटी कमिश्नर अरुण त्रिपाठी ने बताया कि हैकर लोग कई तरह के सॉफ्टवेयर के माध्यम से ट्रेन के टिकट की बुकिंग खुलते ही हैक करते हुए सारी टिकट को बुक कर लेते थे, जिससे यात्रियों को टिकट नहीं मिलती थी और उन्हें परेशान होना पड़ता था. आरपीएफ ने अथक प्रयास के बाद इस रैकेट का पर्दाफाश करते हुए न सिर्फ 58 करोड़ रुपये की ई-टिकट पकड़ी बल्कि उन्हें जेल भी भेजा.