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second wave of corona में सरकार के डिब्बों में बंद थे 204 वेंटीलेटर, हाई कोर्ट में मांगा जवाब

कोरोना संबंधित याचिकाओं की सुनवाई के दौरान सरकार की ओर से हाई कोर्ट के समक्ष पेश की गई परिपालन रिपोर्ट पर कोर्ट मित्र ने आपत्ति दर्ज की. उन्होंने युगलपीठ को बताया कि second wave of corona में सरकार ने डिब्बे में बंद रखे 204 वेंटीलेटर का उपयोग तक नहीं किया.

Jabalpur High Court
जबलपुर हाई कोर्ट

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Published : Jun 10, 2021, 8:33 PM IST

जबलपुर। कोरोना संबंधित याचिकाओं की सुनवाई के दौरान सरकार की ओर से हाई कोर्ट के चीफ जस्टिस मोहम्मद रफीक और जस्टिस सुजय पाल की युगलपीठ के समक्ष पेश की गई. परिपालन रिपोर्ट पर कोर्ट मित्र ने आपत्ति पेश की. उन्होंने युगलपीठ को बताया कि कोरोना महामारी की दूसरी लहर बहुत व्यापक थी. इसके बावजूद भी प्रदेश सरकार के डिब्बे में बंद रखे 204 वेंटीलेटर का उपयोग तक नहीं किया गया. युगलपीठ ने इस संबंध में सरकार से जवाब मांगते हुए याचिका पर अगली सुनवाई 21 जूलाई को निर्धारित की है.

  • सरकार ने डिब्बों में बंद रखे थे वेंटीलेटर

हाई कोर्ट द्वारा एक संज्ञान याचिका के साथ कोरोना संबंधित याचिका की सुनवाई की जा रही है. याचिका की सुनवाई के दौरान सरकार की ओर से पेश परिपालन रिपोर्ट में बताया गया कि पूर्व के आदेश का परिपालन करते हुए निजी अस्पतालों के लिए कोरोना उपचार दर का निर्धारण कर 1 जून से लागू कर दिया गया है. कोर्ट मित्र ने सरकार की ओर से पेश की गई परिपालन रिपोर्ट पर आपत्ति जाहिर करते हुए युगलपीठ को बताया कि प्रदेश सरकार द्वारा निर्धारित दर प्रदेश के सभी स्तर के अस्तपालों के लिए एक सामान्य है.

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कई अस्पताल निर्धारित दर से कम में उपचार कर रहे थे, जो अब निर्धारित दर के उपचार राशि वसूल रहे है. प्रदेश सरकार के रिपोर्ट के अनुसार उनके बाद विभिन्न जिलों में नए वेंटीलेटर उपलब्ध है, जिनका उपयोग नहीं किया गया है. कोरोना महामारी के कारण उपचार के दौरान वेंटीलेटर की सुविधा के लिए मारामारी मची हुई थी और सरकार उन्हें डिब्बों में बंद कर रखी हुई थी.

  • प्रदेश के सभी जिलों में नहीं है सीटी स्कैन मशीन

कोर्ट मित्र ने युगलपीठ को बताया कि सरकार ने पूर्व में कोरोना उपचार के लिए निर्धारित से 40 प्रतिशत अधिक राशि लेने के आदेश निजी अस्पतालों को दिए थे. इस आदेश के परिपालन में सरकार से रिपोर्ट मांगी जाए. परिपालन रिपोर्ट में बताया गया है कि प्रदेश के 14 जिलों में सीटी स्कैन मशीनों की सुविधा है और शेष जिलों में सीटी स्कैन मशीन लगाए जाने के संबंध में प्रक्रिया जारी है. प्रदेश में एक साल से अधिक समय से कोरोना महामारी को दौर जारी है और प्रदेश सरकार अभी तक प्रदेश के सभी जिलों में सीटी स्कैन मशीन तक नहीं लगा पाई.

युगलपीठ ने सुनवाई के बाद कोर्ट मित्र द्वारा उठाई गई आपत्तियों पर सरकार को जबाव पेश करने के आदेश दिए है. सुनवाई के दौरान सरकार की तरफ से महाधिवक्ता पुरूषेन्द्र कौरव और कोर्ट मित्र के रूप में वरिष्ठ अधिवक्ता नमन नागरथ उपस्थित हुए.

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