इंदौर। मंडी टैक्स कम करने समेत अपनी विभिन्न मांगों को लेकर अनाज व्यापारियों ने प्रदेश की अनाज तिलहन मंडियों में हड़ताल शुरू कर दी है, जिसके चलते प्रदेश की सबसे बड़ी इंदौर अनाज मंडी समेत अन्य मंडियों में किसानों की आवक समेत मंडियों में खरीदी बिक्री पूरी तरह बंद हो गई है. दरअसल इंदौर अनाज, तिलहन व्यापारी संघ के अलावा अन्य समानांतर व्यापारियों के संगठनों ने 4 सितंबर से 7 सितंबर तक सभी अनाज मंडियों में हड़ताल का ऐलान किया है, व्यापारियों की मांग है कि "मंडियों में प्रति कुंटल पर लगने वाला ₹170 पैसे का मंडी टैक्स घटकर अन्य राज्यों के बराबर 0.5% किया जाए. इसके अलावा मंडियों से निराश्रित शुल्क(मंडी फीस) भी समाप्त किया जाए."
सरकार नहीं सुन रही व्यापारियों की मांग:इंदौर अनाज तिलहन व्यापारी संघ के अध्यक्ष संजय अग्रवाल के मुताबिक "मंडी अधिनियम में अनावश्यक थोपे गए लाइसेंस शुल्क की अनिवार्यता को खत्म करने की मांग लगातार शिवराज सरकार से की गई है, इसके अलावा सरकार से वाणिज्यिक सम व्यवहार की फीस अथवा लाइसेंस में ₹25000 की वृद्धि की गई है, जबकि पूर्व में यह 5000 थी. वहीं व्यापारियों पर कृषक खरीदी प्रतिभूति बढ़ाने का लगातार दबाव बनाया जाता है, जो कि व्यापारियों के साथ अन्याय है. पूर्व में भी व्यापारियों ने इस तरह की मांग माननीय मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान के समक्ष की थी, लेकिन तब भी कोई सुनवाई नहीं हुई. हाल ही में फिर व्यापारी संगठन के प्रतिनिधियों ने मुख्यमंत्री से चर्चा की थी, जिसमें उन्होंने संबंधित अधिकारियों से चर्चा कर इस मामले में निर्णय लेने का आश्वासन दिया है."