इंदौर। महेश दृष्टिहीन कल्याण संघ (Mahesh Blind Welfare Association) में म्यूजिक की धुन पर गरबा कर रही यह बालिकाएं दृष्टिहीन है. ये बच्चे गरबा नहीं देख पा रहे है, लेकिन इनके बीच माता की भक्ति का अदम्य उत्साह और गरबा आयोजन के प्रति ललक साफ दिखाई दे रही है. महेश दृष्टिहीन कल्याण संघ ने बच्चियों के लिए रंगारंग गरबा आयोजित किया. संस्था के तमाम समाजसेवियों और प्रबंध कारिणी समिति के बीच उन बालिकाओं ने पहली बार गरबा की ड्रेस पहनी, जो वह खुद नहीं देख सकती. इसके अलावा गरबा, डांडिया समेत तमाम संसाधनों के साथ जब म्यूजिक की धुन पर गरबा करने उतरी. दृष्टिहीन बालिकाओं का गरबा देखकर सामान्य लोग भी दंग रह गए.
स्टेप करवा कर दी गई गरबा ट्रेनिंग
संस्था की विकास अधिकारी डॉ. डॉली जोशी ने पहली बार संस्था के करीब 50 बालिकाओं को 2 दिन की ट्रेनिंग दी. डॉक्टर डॉली जोशी ने बच्चों को म्यूजिक पर स्टेप करवाकर ट्रेनिंग दी. उन्होंने बताया कि बच्चियां देख नहीं सकती थी. हर म्यूजिक पर कितना आगे बढ़ना है, इसके बाद किस तरह का मूवमेंट करना है. यह दृष्टिहीन बालिकाओं के लिए चुनौतीपूर्ण था, लेकिन कदमताल और म्यूजिक पर खुद को सामान्य दूरी में रखते हुए नाचने के अभ्यास को आयोजन में सफलता मिल गई. इस दौरान संस्था के पदाधिकारी भी आयोजन को लेकर उत्साहित नजर आए.