इंदौर। देपालपुर तहसील के गौतमपुरा थाना क्षेत्र अंतर्गत चांदन खेड़ी गांव में मंगलवार को राम मंदिर निर्माण के लिए जन जागरण वाहन रैली निकाली गई थी, जिसमें विशेष वर्ग के लोगों द्वारा पथराव की स्थिति निर्मित कर दी गई थी. वहीं इस घटना के बाद दो दिनों से अतिक्रमण के खिलाफ कार्रवाई की जा रही है.
वाहन रैली के दौरान विशेष वर्ग द्वारा हुए पथराव में 10 से अधिक लोग घायल हो गए थे, जिसके बाद हिन्दू संगठन के सदस्य घटनास्थल पर पहुंचे, जहां पत्थरबाज आरोपियों की गिरफ्तारी और कार्रवाई की मांग को लेकर धरना दिया गया. धरने के बाद बुधवार और गुरुवार को पत्थरबाजी के मामले में 30 उपद्रवियों को गिरफ्तार कर लिया गया.
इधर प्रशासन ने बुधवार को गांव वालों द्वारा किए गए अतिक्रमण को हटाया. वहीं गुरुवार को प्रशासन का रवैया और तेज देखा गया, जहां एक किलोमीटर पहले ही पुलिस बल तैनात रहा. वहीं इलाके में मीडिया तक की एंट्री नहीं दी गई. इसके अलावा गुरुवार को सुबह से ही 3-4 जेसीबी मशीन द्वारा चांदन खेड़ी गांव से कनवास मार्ग में अवरुद्ध मकानों को तोड़ने का कार्य ताबड़तोड़ तरीके से किया गया. वहीं रोड निर्माण के लिए मोरम सहित अन्य सामग्री भी डाली गई.
अतिक्रमण के खिलाफ प्रशासन की कार्रवाई पढ़े:27 पत्थरबाज गिरफ्तार, TI-SDOP हटाए गए
27 पत्थरबाज हुए थे गिरफ्तार
देपालपुर तहसील के गौतमपुरा थाना क्षेत्र के चांदन खेड़ी गांव में विशेष वर्ग के लोगों ने हिंदू संगठन की रैली पर पथराव कर दिया था. ये घटना देर रात की बताई जा रही थी, जिसके बाद गौतमपुरा थाना प्रभारी और सांवेर एसडीओपी को हटा दिया गया था, जबकि क्षेत्र में धारा-144 लागू कर दिया गया और 27 पत्थरबाजों को गिरफ्तार किया गया.
अयोध्या में राम मंदिर निर्माण महोत्सव को लेकर देपालपुर में जन जागरण भगवा रैली निकाली गई थी, इस रैली में कुछ गाड़ियां पीछे रह गईं थी, जिस पर गांव के ही विशेष वर्ग के लोगों ने पथराव कर दिया था, जबकि रैली निकलने से पहले हिंदू संगठन ने गौतमपुरा पुलिस को सूचना भी दी थी. लिहाजा रैली के साथ पुलिस बल भी तैनात रहा, बावजूद इसके पथराव की स्थिति निर्मित हो गई थी.
मंगलवार सुबह से लेकर शाम 7 बजे तक चली तनातनी में विशेष वर्ग ने पथराव तो किया ही, साथ ही हथियार भी लहराए गए और हवाई फायर भी किया गया. मामले की गंभीरता को देखते हुए कलेक्टर मनीष सिंह और डीआईजी हरिनारायण चारी मिश्र भारी दल-बल के साथ मौके पर पहुंचे और मामले को शांत कराने की कोशिश की गई. इस दौरान पूर्व विधायक मनोज पटेल भी मौजूद रहे, जहां अधिकारियों से चर्चा के बाद पुलिस ने भीड़ को शांत कराने के लिए आंसू गैस के गोले भी छोड़े थे.