ग्वालियर। आदित्यपुरम इलाके में बिजली व्यवस्था इस कदर तारों में उलझी हुई है कि लोग उसे सुलझाने में खुद ही उलझ जाते हैं. तारों का ऐसा मकड़जाल है कि, अगर किसी का कनेक्शन ढीला हो गया या फिर बिलजी उनके घर नहीं आ रही है, तो उन्हें अपना वायर खोजने में घंटों लग जाते हैं. विद्युत कर्मी उपभोक्ताओं की गुहार सुनने को तैयार नहीं है. लोगों को खुद ही अपनी जान पर खेलकर बिजली कनेक्शन सही करना पड़ता है.
बदहाल बिजली व्यवस्था उपभोक्ताओं के लिए बनी मुसीबत का सबब, अधिकारी नहीं दे रहे ध्यान
ग्वालियर के आदित्यपुरम इलाके में बिजली व्यवस्था इस कदर तारों में उलझी हुई है, कि लोग इसे सुलझाने में खुद ही उलझ जाते हैं. पिछले तीन सालों में करंट लगने से दस लोगों की मौत हो चुकी है, बावजूद इसके अधिकारी ध्यान नहीं दे रहे हैं.
इस अव्यवस्था की वजह से पिछले तीन साल में दस से ज्यादा लोगों की मौत करंट लगने से हो चुकी है, इसके बावजूद लोगों को इस मुसीबत से निजात आज तक नहीं मिल पाई है. इलाके में लाइट के तार एक दीवार के किनारे मकड़ी के जाले की तरह उलझे हुए हैं. जिन लोगों के घरों की लाइट चली जाती है, वो इन सैकड़ों जालेनुमा तारों के पास जाकर अपने घर का तार ढूंढते हैं. इस दौरान लोगों को जान जोखिम में डालकर अपना कनेक्शन जोड़ता पड़ता है. ये हालात तब हैं, जब इस इलाके से माया सिंह विधायक रह चुकीं हैं. हाल ही स्थानीय लोगों ने उपचुनाव के बहिष्कार करने का ऐलान किया था, जिसके बाद पूर्व विधायक मुन्नालाल गोयल ने यहां पहुंचकर लोगों को समझाइश दी थी. ADM किशोर कान्याल का कहना है कि, बिजली विभाग के अधिकारियों और कॉलोनाइजर के साथ बैठक कर इस परेशानी को दूर किया जाएगा.