ग्वालियर। हैवानियत से जुड़े एक मामले में ग्वालियर कोर्ट ने अपनी ही सगी बहन से दुष्कर्म करने वाले दो कलियुगी भाईयों को उम्रकैद की सजा सुनाई है. इसके साथ कोर्ट ने अपने आदेश में पुलिस को लापरवाही बरतने को लेकर फटकार लगाई, साथ ही टिप्पणी भी की है.
कोर्ट ने कहा- इस मामले में पुलिस विवेचना में गंभीर लापरवाही बरती गई, इसके कारण मृतक लड़की के गर्भाशय का टिशु प्रिजर्व कर उसे संभालकर नहीं रखा गया. घटना शहर के मुरार थाना की है.
क्या है पूरी कहानी?:टीकमगढ़ की रहने वाली 16 साल की नाबालिग लड़की अपने माता-पिता और अन्य भाई-बहनों के साथ ग्वालियर आई थी. जुलाई 2018 में उसकी तबीयत अचानक खराब होने लगी थी. उसके माता-पिता ने लड़की का ग्वालियर के अलावा टीकमगढ़ और झांसी में इलाज कराया, लेकिन उसे कोई आराम नहीं मिला.
इसके बाद उसे भारतीय आयुर्विज्ञान संस्थान भोपाल में दिखाया गया. जहां लड़की ने अपने बयान में डॉक्टर्स को बताया- उसके साथ मनोज और भरत सिंह ने दुष्कर्म किया है. दोनों लड़की के सगे भाई थे.
घटना मुरार थाना इलाके में एक अस्थाई घर में हुई थी. इसके बाद एम्स भोपाल ने इस पूरी घटना की सूचना भोपाल के मिसरोद थाना को दी. वहां महिला सब इंस्पेक्टर ने लड़की के बयान लिए. उसके कथनों की वीडियोग्राफी भी करवाई गई.
उक्त मामला ग्वालियर के मुरार थाना क्षेत्र का होने के कारण उसे ग्वालियर के लिए रेफर कर दिया गया. जहां मुरार पुलिस ने भरत और मनोज के खिलाफ गैंगरेप और पास्को एक्ट की धाराओं के तहत मुकदमा दर्ज किया था.