ग्वालियर।कमला राजे चैरिटेबल ट्रस्ट की ओर से लगाए गए दावा प्रकरण में कोर्ट के निर्देश पर केंद्रीय मंत्री एवं ट्रस्ट से जुड़े ज्योतिरादित्य सिंधिया के साथ ही उनकी मां, पत्नी और बेटे को भी पक्षकार बनाया गया है. गौरतलब है कि तीन दशक पहले बने महालेखाकार कार्यालय के सामने के रेलवे ओवर ब्रिज की जमीन को कमला राजे चैरिटेबल ट्रस्ट ने अपनी बताया है और इसके एवज में 7 करोड़ रुपए का मुआवजा लेने के लिए कोर्ट में दावा पेश किया है.
ट्रस्ट के सचिव को वादी मानने का न्यायालय का इनकार:इस मामले में शासन की ओर से अपनी भी सफाई पेश की गई है और जमीन को सरकारी बताया है. दावा मजबूत करने के लिए राजस्व अधिकारी ने 1950 के खसरे भी पेश किए हैं, जिनमें यह जमीन सरकारी बताई गई है. न्यायालय ने केंद्रीय मंत्री ज्योतिरादित्य सिंधिया और उनके परिजनों सहित अन्य ट्रस्टियों को 12 मई तक पक्षकार बनाने के आदेश दिए हैं. इन लोगों में सचिव विजय सिंह फाल्के को वादी नहीं बनाया गया है.