ग्वालियर। जिला विधिक सेवा प्राधिकरण के निर्देश पर इस साल की अंतिम लोक अदालत में वकीलों के बहिष्कार का बड़ा असर देखा गया. 15 हजार से ज्यादा मामलों को निराकरण के लिए जिला न्यायालय में पंजीकृत किया गया था, लेकिन सिर्फ 2000 के लगभग मामलों का ही निराकरण हो सका.
साल की अंतिम लोक अदालत में वकीलों के बहिष्कार का असर, कम ही मामलों का हो सका निराकरण - Last Lok Adalat
राष्ट्रीय लोक अदालत का आयोजन हाईकोर्ट की ग्वालियर खंडपीठ के अलावा जिला न्यायालय कुटुंब न्यायालय तहसील न्यायालय में आयोजित किया गया था, लेकिन हाईकोर्ट बार एसोसिएशन के बहिष्कार के चलते लोक अदालत में कम ही मामलों का निराकरण हो सका.
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अंतिम लोक अदालत
अंतिम लोक अदालत
लोक अदालत में प्री लिटिगेशन प्रकरणों में नगर निगम की 22 लाख से ज्यादा की रिकवरी जिसमें जल कर और संपत्ति कर शामिल है. वहीं बिजली कंपनी के 246 मामलों में 45 लाख की रिकवरी की गई इसके अलावा एन आई एक्ट बैंकों के रिकवरी प्रकरण के मामलों का भी निराकरण किया गया.
वकीलों की हड़ताल के चलते ज्यादातर वहीं मामले सुनवाई में आ सके जो लोग आपसी सहमति से विभिन्न विभागों में अपनी रिकवरी को समायोजित कराना चाहते थे. इनमें पैरा लीगल वालंटियर की मदद भी ली गई.