मध्य प्रदेश

madhya pradesh

ETV Bharat / state

खुले में धान का स्टोरेज, बारिश की भेंट चढ़ी किसानों की मेहनत - dindori news

डिंडौरी जिले के शहपुरा विकासखंड के बरगांव स्थित धान खरीदी केन्द्र में खुले मैदान में धान खरीदी की जा रही है. वहीं इस दौरान बारिश होने से हजारों क्विंटल धान बर्बाद हो रहा है.

Paddy deteriorated due to rain in Dindori
बारिश में भीगा धान

By

Published : Dec 14, 2019, 10:09 AM IST

डिंडौरी। मध्यप्रदेश में अचानक मौसम ने करवट ली और कई जिलों में मूसलाधार बारिश हुई. इधर डिंडौरी के शहपुरा विकासखंड के बरगांव में धान खरीदी केन्द्रों में खुले आसमान के नीचे रखा हजारों बोरी धान पानी में बर्बाद हो गया. जिला प्रशासन और विभाग के जिम्मेदार अधिकारियों ने मौसम विभाग के पूर्वानुमान की अनदेखी की, जिसके कारण हजारों बोरी धान कल की बारिश में भीगकर चौपट हो गया है.

धान खरीदी केन्द्रों में गोदाम भर जाने से और धान का विभाग द्वारा सही समय में परिवहन नहीं किए जाने से हर केन्द्र पर हजारों बोरी धान बाहर खुले मैदान में रखा हुआ है और उसे बचाने के लिए जिम्मेदार अधिकारियों द्वारा कोई व्यवस्था नहीं की गई है, जिसके चलते बारिश में हजारों बोरी धान भीग चुका है.

खुले में धान का स्टोरेज

आदिम जाति सहकारी समिति बरगांव में धान को पानी से बचाने के लिए छोटी-छोटी पन्नियां या तिरपाल की व्यवस्था की गई थी, लेकिन उसके बाद भी बरगांव के जिम्मेदारों और खाद्य विभाग ने भारी लापरवाही बरती. पहले से कोई व्यवस्था न होने से हजारों क्विंटल धान बर्बाद हो चुका है. जब कुछ धान की बोरियों के ऊपर पन्नी ढंक दी गई, तो बारिश का पानी बहकर खरीदी केन्द्र के मैदान में जमा हो गया, जिससे धान की बोरी नीचे और ऊपर से भीग गई.

ग्रामीणों का कहना है कि मैदान में बारिश का पानी भर गया, जिससे उनकी धान खराब हो रही है. यहां खरीदी तो की जा रही है, लेकिन धान का परिवहन नहीं हो रहा है. इस मामले में शहपुरा तहसीलदार एन एल वर्मा का कहना है कि 'मैं जांच कराकर देखता हूं कि कितना नुकसान हुआ है, कोई ज्यादा खरीदी नहीं हुई है और अभी तक परिवहन का टेंडर नहीं हुआ है, इस कारण से धान का परिवहन नहीं हो रहा है. खरीदी केन्द्र के जिम्मेदार मीडिया के कैमरे पर जवाब देने से बच रहे हैं.

आदिम जाति सेवा सहकारी समिति बरगांव के खुले में की जा रही धान खरीदी की इन तस्वीरों को देखकर अंदाजा लगाया जा सकता है कि हजारों क्विंटल धान पानी में भीग जाने के कारण बर्बाद होने की कगार पर है, जिससे किसानों के चेहरे पर चिंता की लकीरें साफ देखी जा सकती हैं.

ABOUT THE AUTHOR

...view details