Chhindwara News: मदिरा प्रदेश कहने पर भाजपा ने कमलनाथ का जलाया पुतला, किया प्रदर्शन
छिंदवाड़ा में मदिरा प्रदेश कहने और पत्रकारों को मूर्ख बताने के मामले में भाजपा ने कमलनाथ का पुतला जलाया और प्रदर्शन किया.
मदिरा प्रदेश कहने पर भाजपा ने कमलनाथ का जलाया पुतला
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Published : Feb 24, 2023, 10:46 PM IST
छिंदवाड़ा।मध्य प्रदेश को मदिरा प्रदेश कहने और पत्रकारों को मूर्ख कहने के मामले में छिंदवाड़ा में भाजपा ने कमलनाथ का पुतला जलाया और प्रदर्शन किया और पत्रकारों के आत्मसम्मान के लिए कमलनाथ के खिलाफ विरोध में उतरने के लिए अपील भी की.
भाजपा नेताओं ने कमलनाथ का जलाया पुतलाःआपको बता दें कि पूर्व मुख्यमंत्री कमलनाथ ने छिंदवाड़ा में पत्रकारों से चर्चा के दौरान शिवराज सिंह सरकार की शराब नीति को आड़े हाथों लिया था. इस दौरान उन्होंने कहा था कि एमपी का मतलब मध्यप्रदेश होता था लेकिन अब शिवराज सिंह सरकार ने उसे मदिरा प्रदेश बना दिया है. इसके साथ ही कमलनाथ ने भोपाल में 200 पत्रकारों को अपने बंगले में बुलाया था और उन्हें मध्यप्रदेश की जमीनी हकीकत से अवगत कराया था. साथ ही कमलनाथ ने कहा कि मैंने पत्रकारों से कहा कि जमीन आप समझ रहे हैं और जो जानबूझकर भी नहीं समझना चाहता तो फिर मूर्ख. इन्हीं बयानों के विरोध में फव्वारा चौक में भाजपा नेताओं ने कमलनाथ का पुतला जलाते हुए जमकर नारेबाजी की.
धार्मिक और पवित्र प्रदेश को कमलनाथ ने किया अपमानितःभाजपा के जिला अध्यक्ष विवेक बंटी साहू ने फव्वारा चौक में कमलनाथ का पुतला जलाने के बाद मीडिया से चर्चा करते हुए कहा कि मध्यप्रदेश एक पवित्र प्रदेश है. यहां पर महाकाल विराजे हैं तो वहीं माता नर्मदा का उद्गम स्थल भी है. ऐसे धार्मिक और पवित्र प्रदेश को कमलनाथ ने मदिरा प्रदेश बोलकर अपमानित किया है. विवेक बंटी साहू ने कहा है कि कमलनाथ खुद मध्यप्रदेश के रहने वाले नहीं हैं. इसलिए उन्हें मध्यप्रदेश से कोई लगाव नहीं है, वे सिर्फ छिंदवाड़ा में व्यापार करने आते हैं और छिंदवाड़ा की जनता को मूर्ख बनाकर पॉलिटिकल फैक्ट्री चला रहे हैं.
पत्रकारों को मूर्ख कहने के मामले में विरोध शुरूःसाथ में भाजपा जिला अध्यक्ष विवेक बंटी साहू ने कहा कि पूरे प्रदेश में कमलनाथ के द्वारा पत्रकारों को मूर्ख कहने के मामले में विरोध शुरू हो गया है. विवेक बंटी साहू ने कहा कि छिंदवाड़ा के पत्रकारों को भी अपने आत्मसम्मान के लिए कमलनाथ के विरोध में मैदान में आना चाहिए, ताकि समाज का सबसे प्रबुद्ध वर्ग पत्रकार को अपमानित करने का अंदाजा कमलनाथ को लग सके.