छतरपुर। लॉकडाउन के दौरान शासन द्वारा गरीबों को खाद्यान्न उपलब्ध कराने के लिए भरसक प्रयास किए जा रहे हैं, इसके लिए शासन द्वारा कई महीनों का खाद्यान्न पहले ही भेजा जा चुका है. लेकिन राशन गरीबों को बांटने के बजाए इसकी कालाबाजारी की जा रही है. ताजा मामला नौगांव जनपद अंतर्गत आने वाली सेवा सहकारी समिति मऊ सहनियां का है, जहां ग्राम पंचायत मऊ, नयागांव, सहनियां, मुकरवा, माधौपुर और बरट के ग्रामीणों ने आरोप लगाया है कि राशन वितरण दुकानदार राशन कार्ड में राशन की एंट्री कर देता है, लेकिन उन्हें राशन मिलता नहीं है. इस बारे में ग्रामीणों ने कई बार शिकायत की है, लेकिन कोई कार्रवाई नहीं होती है.
प्रदेशभर में चल रहा पोषण सप्ताह लेकिन यहां हो रही राशन की कालाबाजारी
छतरपुर में राशन गरीबों को बांटने के बजाए इसकी कालाबाजारी की जा रही है. ग्रामीणों ने आरोप लगाया है कि राशन वितरण दुकानदार राशन कार्ड में राशन की एंट्री कर देता है, लेकिन उन्हें राशन मिलता नहीं है. इस बारे में ग्रामीणों ने कई बार शिकायत की है, लेकिन कोई कार्रवाई नहीं होती है.
ग्रामीणों ने की कई शिकायत
ग्राम पंचायत मऊ सहनियां में इस के ग्रामीणों ने राशन वितरण दुकानदार पर गंभीर आरोप लगाते हुए कहा था कि हितग्राहियों को पात्रता पर्ची में जितना राशन लिखा जाता है. उतना दिया नहीं जाता है. ग्रामीणों को कोरोना काल के समय बंटने के लिए आया राशन भी नहीं दिया गया. साथ ही अंत्योदय कार्डधारकों से अनाज के बदले पैसा लेने का भी आरोप लगाया है. लोगों का कहना है कि वितरण से पहले ही स्टॉक पंजी में वितरण दर्ज कर खाद्यान्न की कालाबाजारी की जा रही है. हालांकि मऊ सहानियां सोसायटी का सेल्समैन बालकिशुन पाल ने सभी आरोपों को गलत बताया है. उसका कहना है कि मशीन से जितने राशन की पर्ची निकलती है, उतना राशन बांटा जाता है.