छतरपुर।जिले के बिजावर में एक जेल आजादी से पहले की है. ये जेल अपने आप में खास है, क्योंकि ये मध्यप्रदेश की सबसे पुरानी जेल मानी जाती है. आजादी से पहले ईस्ट इंडिया कंपनी इस जेल में कैदियों को रखती थी. जेल के मुख्य द्वार पर सन्1926 का स्थापना पत्थर भी लगा हुआ है, जिससे प्रामाणिक होता है कि ये जेल आजादी के पहले की है.
बिजावर में अंग्रेजों के जमाने की जेल, कई स्वतंत्रता संग्राम सेनानी थे कैद - mp news
छतरपुर जिले के बिजावर में एक अंग्रेजों की जमाने की एक जेल है. बताया जाता है कि इस जेल में स्वतंत्रता संग्राम सेनानियों को रखा जाता है.
![बिजावर में अंग्रेजों के जमाने की जेल, कई स्वतंत्रता संग्राम सेनानी थे कैद The British-era jail is in Chhatarpur district](https://etvbharatimages.akamaized.net/etvbharat/prod-images/768-512-5807418-48-5807418-1579746969507.jpg)
बिजावर में अंग्रेजों के जमाने की जेल
बिजावर में अंग्रेजों के जमाने की जेल
बताया जाता है कि जेल बनने से पहले यहां बिजावर रियासत के महाराज राजा सावंत सिंह के घोड़ों का अस्तबल हुआ करता था. जिसे बाद में ईस्ट इंडिया कंपनी को जेल के रूप में इस्तेमाल करने के लिए मुहैया करवा दिया गया था. जानकार बताते हैं कि स्वतंत्रता संग्राम सेनानियों को भी इस जेल में रखा जाता था. बुंदेलखंड के देवी सिंह, मूरत सिंह जैसे कई खूंखार डाकू को भी इसी जेल में रखा गया था.
Last Updated : Jan 23, 2020, 9:21 AM IST