छतरपुर। कोरोना काल में मूर्तिकारों को भी परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है. जहां एक ओर पूरे देश में मजदूरों के पलायन के संबंध में बातें सामने आती हैं रहीं, वहीं अब स्थानीय मजदूर भी परेशान हो रहे हैं. गढ़ीमलहरा में नवरात्रि का पर्व शुरू होने वाला है और इसको लेकर अब मूर्तिकारों ने तैयारियां शुरू कर दी हैं. आज ईटीवी भारत की टीम ने मूर्तिकारों के पास जाकर उनकी समस्याओं व कोरोना से उनके धंधे पर पड़े असर के बारे में जानकारी ली.
मूर्ति बनाने वालों का भी कहना है कि उनके धंधे-पानी पर कोरोना का असर पड़ा है. पहले वह 100-150 मूर्तियां बनाकर बेचते थे, इस बार उन्होंने महज 60-70 मूर्तियां ही बनाई हैं, जिनमें से अभी तक 30 की ही बुक हो पाई है. मूर्ति बनाने वाली महिला कारीगर संध्या प्रजापति बताती हैं कि उनके द्वारा पिछले 27 साल से लगातार मूर्ति बनाने का काम किया जा रहा है, हर वर्ष मूर्ति बेचकर अच्छा धंधा पानी चल जाता था, लेकिन इस साल उन्हें लागत भी ठीक ढंग से नहीं मिल पा रही है, जिससे उन्हें परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है.