छिंदवाड़ा। पाकिस्तान से विभाजित होकर अलग बांग्लादेश बनने में मध्यप्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री कमलनाथ ने अहम भूमिका (Kamal Nath played an important role in creation of Bangladesh) निभाई थी, यह बात खुद उन्होंने छिंदवाड़ा में विजय दिवस के मौके पर लोगों को बताई. 1971 में पाकिस्तान से भारत के युद्ध जीतने के बाद बांग्लादेश का जन्म हुआ था, जिसके 50 साल पूरे होने पर छिंदवाड़ा में पूर्व मुख्यमंत्री कमलनाथ ने विजय दिवस मनाया और पूर्व सैनिकों को सम्मानित किया.
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पूर्वी पाकिस्तान के लोगों के संरक्षण की मिली जिम्मेदारी
सैनिकों के सम्मेलन को संबोधित करते हुए पीसीसी चीफ कमलनाथ ने कहा कि पाकिस्तान से आजाद होने के लिए पूर्वी पाकिस्तान के लोग लड़ाई लड़ रहे थे, लेकिन उन पर पाकिस्तान लगातार अत्याचार कर रहा था, वहां के सैनिक-पुलिस से बचने के लिए पूर्वी पाकिस्तान के लोग भाग कर आते थे तो तत्कालीन प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी ने उन्हें संरक्षण और उनके रहने-खाने की जिम्मेदारी कलकत्ता में उनको सौंपी थी, तब उन्हें ज्यादा समझ नहीं थी, लेकिन इंदिरा जी ने काम दिया था, इसलिए उसे पूरी ईमानदारी से किये थे.
बांग्ला भाषी होने के कारण मध्यस्थता करना था आसान
कमलनाथ ने बताया कि उस समय वह युवा थे, उन्हें ज्यादा समझ नहीं थी. इंदिरा गांधी ने उन्हें जिम्मेदारी दी थी इसलिए उन्होंने किया, जबकि न तो मन में देश सेवा का जज्बा था, न ही कोई संकल्प. उन्होंने बताया कि वे कोलकाता में रहते थे और बांग्ला भाषा जानते थे. पूर्वी पाकिस्तान के लोग भी बांग्ला भाषा समझते थे, इसलिए वहां के नेता और स्वतंत्रता की लड़ाई लड़ने वालों के बीच मध्यस्थता करने के लिए इंदिरा गांधी ने उन्हें चुना था. उन्होंने बांग्लादेश की लड़ाई लड़ने वाले लोगों का साथ देते हुए कोलकाता में संरक्षण दिया था.