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MP News: 50 परसेंट कमीशन का मामला फिर गर्माया, एक और ठेकेदार का पत्र वायरल, हाईकोर्ट से न्याय की गुहार, कांग्रेस फिर हमलावर

मध्यप्रदेश में विधानसभा चुनाव से पहले शिवराज सरकार में 50 फीसदी कमीशन का मामला गर्म है. अब एक और चिट्ठी को लेकर सियासी तूफान आने वाला है. शिकायतकर्ता ने गौशालाओं के नाम पर हुई ठगी को लेकर मध्यप्रदेश हाई कोर्ट को एक पत्र लिखा है. शिकायतकर्ता के पत्र को कांग्रेस नेता अरुण यादव ने ट्वीट कर सरकार को चैलेंज किया है कि फिर एफआईआर कराइए. 50 परसेंट कमीशन के ये हैं सबूत.

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50 परसेंट कमीशन का मामला फिर गर्माया, एक और ठेकेदार का पत्र वायरल

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Published : Aug 17, 2023, 3:46 PM IST

50 परसेंट कमीशन का मामला फिर गर्माया, एक और ठेकेदार का पत्र वायरल

भोपाल।मध्यप्रदेश में शिवराज सरकार पर 50 प्रतिशत कमीशन के आरोपों को लेकर कांग्रेस नेताओं पर एफआईआर दर्ज किए जाने का मुद्दा अभी शांत नहीं हुआ कि अब एक और पत्र सोशल मीडिया पर वायरल हो रहा है. यह पत्र रीवा के गौशाला पेटी कांट्रेक्टर संगठन के सिविल इंजीनियर पीयूष पांडे के नाम से जबलपुर उच्च न्यायालय के मुख्य न्यायाधीश को लिखा गया है. इस पत्र में 38 लाख की गौशाला के काम में 14.50 लाख से ज्यादा कमीशन बांटने की शिकायत की गई है. पूर्व केंद्रीय मंत्री और कांग्रेस नेता अरुण यादव ने यह पत्र ट्वीट किया है.

अरुण यादव ने दिया चैलेंज :अरुण यादव ने लिखा "मुख्यमंत्री और बीजेपी नेताओं को 50% कमीशन के सबूत चाहिए थे ना. आप लोगों की वजह से ज्ञानेंद्र अवस्थी सामने नहीं आया था लेकिन पीयूष पांडे किसी भी मंच पर 50% कमीशन पर बात करने के लिए तैयार है. अब जाइए और जाकर फिर मेरे और कांग्रेस नेताओं के खिलाफ एक और एफआईआर दर्ज कराइए." बता दें कि जबलपुर उच्च न्यायालय के मुख्य न्यायाधीश को लिखे पत्र में गौशाला पेटी कांट्रेक्टर संगठन के सिविल इंजीनियर पीयूष पांडे ने शासकीय कार्यों में 50% कमीशन लेकर भुगतान करने की शिकायत करते हुए अपनी पीड़ा जाहिर की है.

गौशाला निर्माण में कमीशन :पत्र में लिखा है "हम रीवा के पेटी कॉन्ट्रैक्ट ग्वालियर के पीड़ित पेटी कांट्रेक्टर की तरह ही प्रताड़ित हैं. 38 लाख की गौशाला में 14.50 लाख से अधिक के कमीशन बांटने की शिकायत हम प्रमाण के साथ कर चुके हैं, लेकिन कहीं कोई सुनवाई नहीं हो रही है. प्रदेश में व्याप्त भ्रष्टाचार और कमीशनखोरी से हम ठेकेदार प्रताड़ित हैं. सरकार हमें गुणवत्ता से समझौता करने के लिए विवश कर रही है. रीवा समेत पूरे प्रदेश में कुछ दलाल सक्रिय हैं, जो कमीशन के साथ काम कर रहे हैं और ठेकेदारों को लूट रहे हैं."

शिकायतकर्ता ने वीडियो जारी किया :शिकायतकर्ता ने लिखा "प्रशासन में बैठे अधिकारियों और मध्य प्रदेश एवं केंद्र सरकार तक शिकायत पहुंचाने के बाद भी हमारी कोई सुनवाई नहीं हो रही और शिकायतों को दबाने का प्रयास किया जा रहा है. मेरे इस पत्र को संज्ञान में लेकर मुझे न्यायालय के समक्ष सरकारी निर्माण कार्यों के भ्रष्टाचार के साक्ष्य प्रस्तुत करने का अवसर दिया जाए. शिकायतकर्ता ने अपना वीडियो जारी कर कहा कि रीवा में गौशालाओं का निर्माण कार्य होना था. यह निर्माण पंचायत के माध्यम से किया जाना था लेकिन रीवा में इंदौर और छतरपुर के एक गिरोह ने अधिकारियों के साथ साठगांठ कर ठेकेदारों को बताया कि उन्हें पूरा एक गौशालाओं का काम मिला है और उन्होंने हमसे गौशालाओं का काम करवाया."

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अरुण यादव ने गडकरी की चिट्ठी की वायरल :इसके पहले कांग्रेस नेता अरुण यादव ने केंद्रीय सड़क परिवहन मंत्री नितिन गडकरी की एक चिट्ठी भी वायरल की. अरुण यादव ने लिखा "केंद्र सरकार द्वारा जारी रिश्वतखोरी का सर्टिफिकेट केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी ने मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान को लिखे अपने पत्र में परिवहन विभाग के चेक पोस्टों पर हो रही भारी भरकम रिश्वतखोरी का प्रमाण पत्र जारी किया था. इनके खिलाफ भी एफआईआर करके दिखाओ." गौरतलब है कि 50% कमीशन को लेकर पत्र वायरल करने को लेकर मध्य प्रदेश के कई जिलों में कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष कमलनाथ सहित कई नेताओं के खिलाफ प्रकरण पंजीबद्ध किया गया है.

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