भोपाल।राजधानी में कुल 16 किमी का ट्रैक फर्स्ट फेज में तैयार किया जा रहा है, जिसमें से केवल 4 किमी ट्रेक पर ट्रेन का ट्रायल किया जाएगा और इसको हरी झंडी दिखाने का कार्यक्रम ऐसे हो रहा है कि मानो कल से इस ट्रेन में पेसेंजर यात्रा करना शुरू कर देंगे. हकीकत में महज 16 में से 4 किमी ट्रेक पर ट्रायल होगा और उसमें से कहीं 30 परसेंट तो कहीं 70 परसेंट काम पूरा हुआ है. इसी 4 किमी ट्रैक का मुआयना ईटीवी भारत संवाददाता ने किया और जाना कि कहां कितना काम हुआ है. MP Metro Project
तीन हजार कर्मचारी दिन-रात काम में जुटे :सुभाष नगर डिपो में ट्रेन को कनेक्ट करने से लेकर उसे ट्रैक पर चढ़ाने का काम किया जा रहा है. भोपाल में मेट्रो का पहला रूट यानी आरेंज लाइन 16.5 किमी है. इसमें से 6.22 किमी लाइन पर तीन हजार कर्मचारी दिन-रात काम कर रहे हैं, क्योंकि इसे प्रायोरिटी लाइन नाम दिया गया है और यहां 2018 में काम शुरू हो गया था. इस 6.22 किमी में से केवल 4 किमी लाइन पर ट्रायल होना है. यह सुभाष नगर डिपो से रानी कमलापति स्टेशन तक का है. इस हिस्से में से सबेस पहले बात करते हैं सुभाष नगर स्टेशन पर महज 70 फीसदी काम हुआ है. अभी यहां बिल्डिंग स्ट्रक्चर तैयार किया जा रहा है. फिनिशिंग का काम बाकी है. इस स्टेशन पर एस्केलेटर, फुटओवर ब्रिज और सीढ़ियों पर काम जारी है.
अभी तक लिफ्ट व सीढ़ियों का काम नहीं :स्टेशन बनने के बाद इसके भीतर इंटीरियर और लाइटिंग का काम भी होगा. इससे थोड़ा आगे केंद्रीय स्कूल स्टेशन बन रहा है. इस स्टेशन में अभी केवल अंडरग्राउंड लाइन बिछी है और बिल्डिंग का सिविल वर्क पूरा बाकी है. आसपास की जमीन भी अभी ऊबड़-खाबड़ है. लिफ्ट और सीढ़ियां पर अब तक काम शुरू हो नहीं हो पाया है. बाकी काम बाद में ही होंगे. इस स्टेशन का अभी 70 फीसदी काम बाकी है. इस ट्रायल ट्रैक पर तीसरा स्टेशन डीबी मॉल के सामने बन रहा है. यहां भी रूप शीटिंग वर्क हो रहा है और बिल्डिंग के भीतर फिनिशिंग वर्क अभी बाकी है. फुटओवर ब्रिज का काम बाकी है. इंटीरियर लाइटिंग के काम भी बाकी है.