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पूर्व मुख्यमंत्री Uma Bharti की CM शिवराज को सलाह, कार्यकर्ता, विधायक, सांसद और संगठन पर करें भरोसा

एमपी की पूर्व मुख्यमंत्री उमा भारती (Former Chief Minister Uma Bharti) लगातार सरकार को आइना दिखाती रही हैं. हाल ही में उमा भारती ने प्रदेश की ब्यूरोक्रेसी को घेरते हुए मुख्यमंत्री शिवराज सिंह को सलाह दी है. (Uma Bharti advice to CM Shivraj) उन्होंने कहा कि हमें कार्यकर्ता, विधायक, सांसद और संगठन का भी भरोसा करना होगा.

Uma Bharti and CM Shivraj
उमा भारती और सीएम शिवराज

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Published : Dec 16, 2022, 5:13 PM IST

भोपाल।एमपी की पूर्व मुख्यमंत्री उमा भारती ने मानव शरीर का उदाहरण देते हुए कार्यकर्ताओं का रोल सीएम शिवराज को बताया है. उमा ने अपने ट्वीट में लिखा कि, पार्टी कार्यकर्ता को आंख, ब्यूरोक्रेसी को हाथ, सरकार को पांव, मुख्यमंत्री को मुख बनना होगा तो सत्य प्रत्यक्ष होगा. कार्रवाई उचित होगी और विकास की जड़ मजबूत होगी.

यंग प्रोफेशनल्स संवाद कार्यक्रम:आपको बता दें कि हाल ही में सीएम शिवराज ने यंग प्रोफेशनल्स संवाद कार्यक्रम के भाषण में कहा था कि, अफसर वल्लभ भवन के प्रेजेंटेशन में एक सुंदर तस्वीर पेश करते हैं, लेकिन वह सच्चाई से दूर होती है. उमा ने शिवराज की तारीफ करते हुए उनका अभिनंदन किया और इसलिए कार्यकर्ता, विधायक, सांसद और संगठन का भरोसा करना चाहिए. उन्होंने इसके लिए मुखिया मुखु सो चाहिए, खान पान कहुं एक, पालइ पोषइ सकल अंग, तुलसी सहित विवेक का उद्धरण देते हुए कहा कि, इसके लिए पार्टी कार्यकर्ता को आंख, ब्यूरोक्रेसी को हाथ, सरकार को पांव, मुख्यमंत्री को मुख बनना होगा.

प्रदेश भ्रमण के दौरान दिखी ब्यूरोक्रेसी की सुंदर तस्वीर:उमा ने ट्वीट के जरिये कहा कि ब्यूरोक्रेसी की सुंदर तस्वीर दिखाने और हकीकत अलग होने की स्थिति उन्होंने खुद अपने हाल ही के प्रदेश के भ्रमण के दौरान देखी है. उन्होंने कहा कि अमरकंटक में कबीर चौरा पर महीनों से लाइट नहीं थी. मैंने मुख्यमंत्री कार्यालय फोन किया. लाइट तुरंत आ गई. अधिकारियों ने कहा, लाइट 24 घंटे से नहीं थी जबकि हकीकत में लाइट महीनों से नही थी.

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सरकार से जांच की मांग:मुझे अमरकंटक में वहां के लोगों ने जानकारी दी है कि अभी कुछ वर्ष पहले हमारी ही सरकार के समय पर करीब 50 हजार बहुमूल्य साल वृक्षों को वन विभाग ने बीमार घोषित करके उनको काट डालने का फैसला किया ताकि बीमारी आगे ना फैले. लेकिन पचास हजार की जगह दो लाख बहुमूल्य साल वृक्ष काट दिए गए. इस सच की हमें जांच करानी चाहिए. इसी तरह डिंडोरी जिले के शाहपुर की शराब की दुकान स्कूल से 50 मीटर के अंदर थी. जबकि मुख्यमंत्री बहुत पहले उसको हटाने का आदेश दे चुके हैं.

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