MP Election 2023: मध्य प्रदेश में अब NCP भी लड़ेगी विधानसभा चुनाव, कार्यकारी अध्यक्ष प्रफुल्ल पटेल ने भोपाल में की घोषणा
मध्यप्रदेश विधानसभा चुनाव में अब राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी चुनाव लड़ेगी. ये इशारा खुद पार्टी के कार्यवाहक अध्यक्ष और राज्यसभा सांसद प्रफुल्ल पटेल ने किया है. वे आज भोपाल में पार्टी कार्यकर्ताओं के बीच पहुंचे थे. आइए जानते हैं, उन्होंने क्या कहा...
भोपाल. मध्य प्रदेश में विधानसभा चुनाव में अब राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी भी चुनाव लड़ेगी. पार्टी के कार्यकारी अध्यक्ष प्रफुल्ल पटेल ने भोपाल में इसकी घोषणा करते हुए कहा कि 230 की जगह कुछ सीटों पर ही पार्टी चुनाव लड़ेगी. एनसीपी यानी राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी मध्य प्रदेश में भी चुनाव लड़ेगी, लेकिन वह कुछ निश्चित सीटों पर ही अपने उम्मीदवार उतारेगी. यह कहना है राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी के कार्यवाहक अध्यक्ष और राज्यसभा में सांसद प्रफुल्ल पटेल का.
भोपाल में अपनी पार्टी के कार्यकर्ताओं के बीच पहुंचे प्रफुल्ल पटेल ने कई मुद्दों पर अपनी बात कही. उन्होंने साफ तौर पर कहा कि मध्य प्रदेश में उनकी पार्टी की स्थिति अच्छी नहीं रही है. पिछले कई चुनाव में भी उन्होंने अपने उम्मीदवार उतारे हैं, लेकिन उतना समर्थन उन्हें नहीं मिला. लेकिन एक बार फिर इस बार के विधानसभा चुनाव में वह अपने उम्मीदवार उतारेगी.
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प्रफुल्ल पटेल ने कहा कि पार्टी सभी 230 विधानसभा सीटों पर चुनाव लड़ने का मन नहीं बना रही है. जहां उनके कार्यकर्ता मजबूत स्थिति में है. उन चुनिंदा सीटों से ही पार्टी चुनाव लड़ेगी.
देरी से घोषणा की वजह?: प्रफुल्ल पटेल ने अपनी इस घोषणा की देरी का कारण भी बताया. उनका कहना था कि जिस तरह से पिछले दो ढाई महीने में उनकी पार्टी को लेकर उथल-पुथल की स्थिति थी और जिस तरह के हालात बने थे. इस कारण ही उन्हें यह घोषणा करने में देरी हुई है. फिलहाल अभी पार्टी के सभी कार्यकर्ताओं और पदाधिकारी के बीच बैठक कर रणनीति बनाई जा रही है. प्रफुल्ल पटेल एनसीपी के अजीत पवार ग्रुप की पार्टी से जुड़े हैं.
मुफ्त की योजनाओं पर क्या बोले प्रफुल्ल पटेल: मुफ्त की योजनाओं पर भी प्रफुल्ल पटेल ने अपनी बात रखते हुए कहा कि पार्टीयो को ऐसी घोषणाएं करनी चाहिए जो संभव हो और लोगों के या जनता के पक्ष में हो. कई घोषणाएं तो आप तब भी कर सकते हैं. जब आपके पास 5 साल में मौका है और आपकी सरकार है. इसलिए चुनाव को देखते हुए असंभव बातें भी नहीं करनी चाहिए.
वहीं, विपक्षी दालों के गठबंधन इंडिया पर भी प्रफुल्ल पटेल ने अपनी बात रखी और कहा कि इनका जो गठबंधन है, वह कमजोर है. उसमें चेहरा कौन है. उनकी नीति क्या है. यही स्पष्ट नहीं है. इसलिए उस पर जनता का विश्वास होना मुश्किल है और हमारी पार्टी का उनसे अलग होने का निर्णय भी इसी आधार पर था. क्योंकि जनता के हित में जिस तरह से देश में मोदी काम कर रहे हैं. इसलिए हम उनसे जुड़े हैं. वही प्रफुल्ल पटेल, शरद पवार पर किए सवाल को टाल गए और कहा कि वह हमारे नेता है. मैं उन पर टिप्पणी करना नहीं चाहता.