भोपाल। मध्य प्रदेश में अल्प बारिश से पैदा हुई संकट की स्थिति को देखते हुए मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने अधिकारियों की आपात बैठक बुलाई है, मुख्यमंत्री चित्रकूट में आयोजित जन आशीर्वाद यात्रा के कार्यक्रम से लौटकर अधिकारियों की बैठक लेंगे. बैठक में सभी विभागों के प्रमुख सचिव के अलावा एक्स और मुख्य सचिव शामिल होंगे, बैठक में प्रदेश के जिलों में वर्षा की स्थिति, प्रदेश के बांधो में जल की स्थिति, बिजली आपूर्ति, पेयजल की व्यवस्था सहित विभिन्न विषयों पर चर्चा होगी. साथ ही प्रदेश में अल्प बारिश से पैदा होने वाली परिस्थितियों से निपटने की संबंध में निर्णय लिए जा सकते हैं. मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने एक दिन पहले ही कम बारिश को लेकर चिंता जताते हुए कहा था कि "एक प्रार्थना सब करना भगवान बारिश कर दें. मैं रात भर परेशान रहा क्योंकि पूरा अगस्त का महीना सूखा गया और सूखा जाने के कारण बांध भी नहीं भरे. बिजली की डिमांड भी एकदम बढ़ गई है." फिलहाल अब शिवराज प्रदेश में बारिश के लिए सोमवार को उज्जैन पहुंचकर बाबा महाकाल की पूजा-अर्चना करेंगे.
गांवों में शुरू हुई 3 घंटे की बिजली कटौती:प्रदेश में अच्छी बारिश न होने की वजह से प्रदेश के अधिकांश डैम पूरे नहीं भर पाए, इसकी वजह से प्रदेश में बिजली संकट की स्थिति पैदा हो गई है. इसको देखते हुए प्रदेश के ग्रामीण इलाकों में 3 घंटे बिजली कटौती करने के आदेश जारी कर दिए गए हैं, गांव में अब सिर्फ 10 घंटे के स्थान पर 7 घंटे बिजली ही मिल सकेगी. ऊर्जा विभाग ने बिजली कटौती का शेड्यूल जारी कर दिया है. बारिश की मौसम में कम बारिश होने की वजह से किसान अब फैसले बचाने मोटर चला कर फसलों की सिंचाई कर रहे हैं, जिससे ग्रामीण इलाकों में बिजली की डिमांड बढ़ गई है. इसी तरह तापमान समाज से 5 डिग्री तक अधिक पहुंच गया है, ये इस वजह से बिजली की डिमांड 14000 मेगावाट तक पहुंच गई है, जबकि पिछले साल सितंबर माह में बिजली की डिमांड सिर्फ 10000 मेगावाट तक ही थी. ऊर्जा विभाग की प्रमुख सचिव संजय दुबे के मुताबिक सरदार सरोवर, इंदिरा सागर के बिजली संयंत्र से 800 मेगावाट बिजली बन रही है जो इसकी फुल कैपेसिटी है.