भोपाल। कोरोना संक्रमण (Coronavirus) के बाद से लोगों को विभिन्न तरह की बीमारियों का सामना करना पड़ रहा है. कोरोना काल में अब जबलपुर वासियों को किडनी ट्रांसप्लांट (kidney transplant) के लिए बड़े-बड़े मेट्रो सिटी के चक्कर नहीं काटने होंगे, क्योंकि जबलपुर में भी अब किडनी ट्रांसप्लांट हो सकेगा. नेताजी सुभाषचंद्र बोस मेडिकल कॉलेज (NSCBMC) के सुपर स्पेशलिटी हॉस्पिटल को सरकार की ओर से गुरुवार को रिट्रवल और ट्रांसप्लांट के लिए लाइसेंस जारी कर दिया गया है.
सुपर स्पेशलिटी हॉस्पिटल का नेफ्रोलॉजी और यूरोलॉजी विभाग इस दिशा में लंबे समय से प्रयास कर रहा था, जोकि अब संभव होने जा रहा है. स्वास्थ्य विभाग के क्षेत्रीय संचालक डॉ. संजय मिश्रा ने बीते दिन सुपर स्पेशलिटी हॉस्पिटल का निरीक्षण किया था. निरीक्षण के दौरान उन्होंने ट्रांसप्लांट से संबंधित व्यवस्थाओं और संसाधनों की जानकारी ली थी. उनकी रिपोर्ट के बाद ही शासन की ओर से किडनी ट्रांसप्लांट का लाइसेंस जारी किया गया.
आयुष्मान योजना के तहत हो किडनी ट्रांसप्लांट
जबलपुर में किडनी ट्रांसप्लांट का इलाज भारत सरकार की "आयुष्मान योजना" के तहत निशुल्क होगा. किडनी ट्रांसप्लांट के लिए निजी अस्पतालों में जहां 8 से 10 लाख रुपए का खर्च आता है. वहीं अगर मरीज आयुष्मान योजना के तहत किडनी ट्रांसप्लांट करवाएगा. तो उसे प्रदेश सरकार की तरफ से मिलने वाली 4 से 5 लाख रुपए की राशि ट्रांसफर की जाएगी.
मानव अंग तस्करी का गिरोह सक्रिय
किडनी बेचने खरीदने में देश और विदेश में माफिया सक्रिय रहते हैं, कई बार देखा गया है कि गरीब तबके के लोगों को रुपयों का लालच देकर उनसे माफिया किडनी खरीद लेते हैं और फिर मुंह मांगे दाम पर जरूरतमंद को बेच देते हैं. जानकारी के मुताबिक हाल ही में देश के पश्चिम बंगाल,केरल, तमिलनाडु में का भी है. जहां मानव अंग की तस्करी करने वाले सक्रिय हैं.