भोपाल।मध्यप्रदेश की हाई प्रोफाइल गोविंदपुरा विधानसभा सीट पर उतरी बीजेपी प्रत्याशी कृष्णा गौर अपनी बयानबाजी को लेकर चर्चा में हैं. पिछले दिनों उनके एक बयान की शिकायत चुनाव आयोग तक पहुंची. चुनाव में धर्म के तड़के को लेकर कृष्णा गौर कहती हैं कि सनातन धर्म बीजेपी के लिए चुनावी मुद्दा कभी नहीं रहा और न ही धर्म को बीजेपी ने चुनावी मुद्दा बनाया, लेकिन कांग्रेस हमेशा चुनावों में राजनीतिक हिंदु बनने का ढोंग करती है. कृष्णा गौर से बात की भोपाल से संवाददाता बृजेंन्द्र पटेरिया ने.
विकास के वादों के बीच धर्म का तड़का क्यों ?:विकास के वादों के बीच धर्म के तड़के के सवाल पर बीजेपी प्रत्याशी कृष्णा गौर कहती हैं कि सनातन धर्म कभी हमारे लिए चुनावी मुद्दा नहीं रहा. सनातन धर्म हमारी आस्था है, हमारी जीवन शैली है. हम हिंदु हैं तो दम ठोक कर कहते हैं कि हम सनातनी हिंदू हैं. कांग्रेस हमेशा चुनाव में राजनीतिक हिंदु बनने का ढोंग करती है. बीजेपी ने तुष्टिकरण की राजनीति कभी नहीं की, लेकिन कांग्रेस ने हमेशा तुष्टिकरण की राजनीति की है. हम विकास, जनकल्याण के आधार पर चुनाव लड़ते हैं और सनातन धर्म हमारा गर्व और गौरव है.
गोविंदपुरा में क्या चल रहा परिवारवाद ?:गोविंदपुरा सीट से पहले 8 चुनाव लगातार बाबूलाल गौर जीतते आए हैं. इस बार फिर बीजेपी द्वारा उनकी बहू को मैदान में उतारे जोने को लेकर कांग्रेस प्रत्याशी रवीन्द्र साहू बीजेपी पर क्षेत्र में परिवारवाद का आरोप लगा रहे हैं. कांग्रेस के आरोपों पर कृष्णा गौर कहती हैं कि यदि एक ही परिवार के लोग हैं तो भारतीय जनता पार्टी ने अवसर दिया है. हमने स्वयं अपने टिकट तय नहीं किया. परिवारवाद तो वहां आता है, जब हम स्वयं अपने लिए टिकट तय करते हैं. यदि हमारी पार्टी हमको चुनाव लड़ा रही है, तो इसमें परिवारवाद कहां से आ गया.