भोपाल। केंद्र सरकार के इलेक्ट्रिक सिटी एक्ट में निजीकरण के लिए किए जा रहे संशोधन के विरोध में बिजली विभाग में काम करने वाले कर्मचारी बड़े आंदोलन की तैयारी में जुट गए हैं. देश के साथ ही प्रदेश में भी 8 जनवरी को राष्ट्रव्यापी हड़ताल का ऐलान मध्य प्रदेश विद्युत मंडल अभियंता संघ के द्वारा किया गया है. इस हड़ताल में देशभर के 15 लाख कर्मचारी शामिल होंगे. आम जनता को परेशानी ना हो, इसके लिए ग्रेड में काम करने वाले कर्मचारी शिफ्ट में अपने-अपने दायित्वों को संभालेंगे.
8 जनवरी को बिजली विभाग के कर्मचारी करेंगे राष्ट्रव्यापी हड़ताल, केंद्र की नीतियों के खिलाफ होगा आंदोलन - Opposition to Electric City Act
केंद्र सरकार के इलेक्ट्रिक सिटी एक्ट में निजीकरण के लिए किए जा रहे संशोधन के विरोध में बिजली विभाग के कर्मचारी 8 जनवरी को राष्ट्रव्यापी हड़ताल करेंगे.
ऑल इंडिया पॉवर इंजीनियर्स फेडरेशन के चेयरमैन बीएस दत्ता का कहना है कि केंद्र सरकार सब्सिडी को समाप्त करने जा रही है. यदि सब्सिडी समाप्त होती है, तो इसका मतलब होगा कि जो कॉमन उपभोक्ता और गरीब उपभोक्ता है, उसकी बिजली की दरें 10 से 12 रुपए प्रति यूनिट तक पहुंच जाएंगी और यह दर देने में गरीब और सामान्य उपभोक्ता सक्षम नहीं है. यह निर्णय पूरी तरह से जनविरोधी है. केंद्र सरकार के द्वारा कॉरपोरेट जगत को सपोर्ट करने वाली जो नीतियां हैं, उसी का हम लोग विरोध कर रहे हैं.
उन्होंने चेतावनी देते हुए कहा कि यदि केंद्र सरकार किसी अध्यादेश या फिर बजट सत्र के दौरान इस बिल को पास कराने की कोशिश करती है, तो देश के तमाम बिजलीकर्मी अनिश्चितकालीन हड़ताल के लिए तैयार हैं.