भोपाल। प्रदेश में होने वाले विधानसभा उपचुनाव में अब बीजेपी और कांग्रेस दोनों ही लगातार एक दूसरे पर आरोप लगा रही हैं और ये आरोप लगाने का सिलसिला अब और भी ज्यादा तेज हो गया है. यही वजह है कि अब निर्वाचन आयोग में दोनों ही राजनीतिक दलों के द्वारा हर दिन कई शिकायतें की जा रही हैं.
प्रदेश कांग्रेस के प्रवक्ता और चुनाव आयोग कार्य प्रभारी जेपी धनोपिया ने चुनाव आयोग को अलग-अलग शिकायतें सौंप कर कार्रवाई की मांग की है. जेपी धनोपिया ने कहा कि बड़ामलहरा, जिला छतरपुर में पदस्थ कलेक्टर शीलेन्द्र सिंह भाजपा प्रत्याशी प्रद्युम्न सिंह लोधी के नजदीकी रिश्तेदार हैं, उनके पदस्थ रहते निष्पक्ष चुनाव होना संभव नहीं है.
इसी प्रकार छतरपुर पुलिस अधीक्षक सचिन शर्मा के पिता आरके शर्मा, उत्तर प्रदेश के बदायु जिले के बिल्सी विधानसभा क्षेत्र से भाजपा विधायक हैं और इस प्रकार सचिन शर्मा भाजपा मानसिकता के साथ चुनाव में कार्य कर रहे हैं, कांग्रेस कार्यकर्ताओं को प्रताड़ित कर रहे हैं.
दोनों अधिकारी खुलकर भाजपा के पक्ष में कार्य कर रहे हैं. जिला कांग्रेस कमेटी छतरपुर द्वारा चुनाव आयोग को शिकायत की गई थी, लेकिन उचित कार्रवाई होना तो दूर की बात है इसके उलट, विधानसभा क्षेत्र के नोडल अधिकारी को पत्र प्रेषित कर आवश्यक दस्तावेज और साक्ष्य प्रस्तुत करने के लिए सूचित किया गया, जांच करना चुनाव आयोग की वैधानिक जिम्मेदारी है और शिकायतें सही पाए जाने पर उक्त दोनों अधिकारियों का तत्काल स्थानांतरित किया जाए.
जेपी धनोपिया ने कहा कि भारतीय जनता पार्टी के प्रत्याशी तुलसी सिलावट के पक्ष में इंदौर सांसद शंकर लालवानी और भाजपा नेता दिलीप चौधरी, इकबाल सिंह गांधी, भारत सिंह चौहान, जीतूराज राठौर, राजाराम गोयल, विनोद मंचन्दानी, बकीम सिलावट, अनिल बाथरा सहित अन्य भाजपा कार्यकर्ताओं द्वारा बिना अनुमति ढोल नगाडों के साथ प्रचार-प्रसार कर रैली निकाली गई, जो कि आदर्श आचार संहिता का सीधा उल्लंघन है. साथ ही कोविड-19 के चलते सोशल डिस्टेंसिंग का भी पालन नहीं किया गया. समस्त भाजपा नेताओं पर आचार संहिता एवं कोविड-19 की धाराओं के उल्लंघन का प्रकरण दर्ज कर कार्रवाई की जाए.