भोपाल। बाल आयोग ने ग्रामीण एवं पंचायत विकास मंत्री महेंद्र सिंह सिसोदिया को एक पत्र लिखा है. पत्र के जरिए बाल आयोग ने यह मांग की है कि प्रतिवर्ष 26 जनवरी ओर 15 अगस्त पर होने वाली ग्राम सभा में ग्रामीण क्षेत्रों के बच्चों को भी अपनी आवाज उठाने का मौका मिले. बाल आयोग का कहना है कि प्रतिवर्ष 15 अगस्त और 26 जनवरी को होने वाली ग्राम सभा में शासकीय कर्मचारी, वरिष्ठ नागरिक जनप्रतिनिधि और प्रबुद्धजन उपस्थित होते हैं, ऐसे में ग्राम सभा में बच्चों को अपनी बात रखने के लिए आधे घंटे का समय देना चाहिए.
बाल आयोग के सदस्य बृजेश चौहान का कहना है कि ग्रामीण क्षेत्रों में रहने वाले 18 वर्ष से कम उम्र के बच्चे अपनी बातें नहीं रख पाते, जबकि वर्तमान परिदृश्य में शहरी एवं ग्रामीण भारत में रहने वाले बालक और बालिकाएं जो 18 से कम आयु के हैं, इनके मन में अनेक जिज्ञासाएं और प्रश्न आते हैं, लेकिन डर और बड़ों का आदर के कारण बच्चे अपने पालकों से इस संबंध में बात नहीं कर पाते और इसी कारण कई बार ऐसी अवस्था में बच्चे कुंठावस्थ हो जाते हैं, जिससे उनका मानसिक विकास रुक जाता है.